हरदोई में अब तक 6000 लोगों को मनरेगा के तहत मिला काम

सुरसा विकासखंड के कुड़वा ग्राम में 165 श्रमिक सई नदी के 6 किलोमीटर क्ष्रेत्र में खुदाई का काम कर रहे हैं इनमें से लगभग 80 प्रवासी मज़दूर और महिलाएं है जो हरियाणा, पंजाब, दिल्ली ,गुजरात और मुंबई से आए हैं ।

Update: 2020-05-19 11:23 GMT

लखनऊ: बड़ी संख्या में सरकार द्वारा चलाई गई श्रमिक रेलगाड़ियों से मजदूर अपने गांव को वापस पहुंच रहे है। पहले से ही बनाई गई रणनीति के तहत सरकार ने मनरेगा के बजट में 40 हज़ार करोड़ का इज़ाफ़ा कर अधिक से अधिक लोगों को गांव में ही रोजगार देना शुरू कर दिया है। बात अगर हरदोई ज़िले की करें तो अब तक 6000 लोगों को मनरेगा के तहत काम दिया जा चुका है।

सुरसा विकासखंड के कुड़वा ग्राम में 165 श्रमिक सई नदी के 6 किलोमीटर क्ष्रेत्र में खुदाई का काम कर रहे हैं इनमें से लगभग 80 प्रवासी मज़दूर और महिलाएं है जो हरियाणा, पंजाब, दिल्ली, गुजरात और मुंबई से आए हैं ।

77 गांव पंचायतों में होने हैं ये काम

ज़िले के 77 गांव पंचायतों के 180 किलोमीटर क्षेत्रफल में नदी के कटाव को रोकने के लिए सिल्ट की खुदाई-सफाई कर उसको पुराने स्वरूप में लाने के साथ- साथ जल संरक्षण को प्रभावी बनाने का कार्य मनरेगा के तहत किया जा रहा है।

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खीरी से निकली यह सई नदी बरसात के दिनों में विकराल रूप धारण करके कटाव कर किसानों की फसल को क्षति पहुंचाने के साथ जनहानि का कारण भी बनती है । कुड़वा ग्राम में सभी को सख्त निर्देश हैं कि वह दूरी बनाकर कार्य करने के साथ ही साथ मास्क, गमछा आदि निर्देशों का पालन करें।

किसानों ने केंद्र सरकार की इस पहल का किया स्वागत

नदी की खुदाई का कार्य करने में लगे मनरेगा के अरविंद कुमार, आदित्य कुमार और अमित ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हम लोगों को अपने गांव में ही काम दे दिया है।जिससे उन्हें लाकडाउन में काफी सहूलियत हो रही है। सभी किसानों ने केंद्र सरकार की इस पहल का स्वागत किया है।

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