UP Election 2022 : जानें इस बार विधानसभा चुनाव में क्या होगा नया, चुनाव आयोग ने ये किये हैं बदलाव ?

आगामी महीनों में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव (Assembly Election 2022) होने हैं। जिसे लेकर चुनाव आयोग (Election Commission Of India) तैयारियों में जुट गया है।

Newstrack :  Network
By :  aman
Update:2021-12-30 16:15 IST

UP Election 2022 : आगामी महीनों में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव (Assembly Election 2022) होने हैं। जिसे लेकर चुनाव आयोग (Election Commission Of India) तैयारियों में जुट गया है। इसी क्रम में गुरुवार 30 दिसंबर को उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में मुख्य चुनाव आयुक्त ने कई बड़े ऐलान किए हैं। निर्वाचन आयोग ने प्रेस से बात (Press Conference) करने के दौरान कहा, कि सभी राजनीतिक दल (Political Parties) समय पर चुनाव कराने के इच्छुक हैं।

चुनाव आयोग ने बताया, कि कोविड प्रोटोकॉल (COVID Protocol) के तहत ही आगामी चुनाव (Assembly Election 2022) कराए जाएंगे। साथ ही बताया, कि कोरोना (COVID) को ध्यान में रखते हुए अब एक बूथ पर 1,500 मतदाताओं की जगह 1,250 लोग ही मतदान कर पाएंगे। जिसके लिए प्रदेश में 11,000 हजार बूथ बढ़ाए गए हैं। चुनाव आयोग की ओर से बताया गया है, कि मतदाता सूची 5 जनवरी 2022 को जारी हो जाएगी। इस दौरान चुनाव आयोग ने ये भी बताया, कि इस बार विधानसभा चुनाव में क्या-क्या नियम बदले होंगे? जो निम्नलिखित हैं--:

ऐसे मतदाता घर से ही दे सकेंगे वोट 

चुनाव आयोग ने आज कहा है, कि बुजुर्गों (Bujurgon), दिव्यांगों (Handicapped) और मरीजों (Patients) को घर से वोट देने की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। इसके लिए मतदाताओं (Voter) को पहले से ही सूचना देनी होगी। ऐसे मतदाता बैलेट पेपर (Ballot Paper) के जरिए अपना वोट (Vote) कर सकेंगे। चुनाव आयोग ने ये भी कहा है कि बिहार के बाद उत्तर प्रदेश में पहली बार यह सुविधा मतदाताओं को दी जा रही है।   

महिलाओं के लिए क्या खास? 

निर्वाचन आयोग की ओर से पहली बार कम से कम 800 पोलिंग स्टेशन (polling station) ऐसे बनाए जाएंगे, जहां सिर्फ महिला पोलिंग अधिकारी होंगी। चुनाव आयोग की तरफ से ऐसी कोशिश महिलाओं को प्रोत्साहित करने के इरादे से की जा रही है। 

दागी प्रत्याशियों के लिए आयोग का नियम सख्त  

चुनाव आयोग ने साफ कहा है, कि दागी प्रत्याशियों को अपने आपराधिक पृष्ठभूमि (Criminal Background) के बारे में लोगों को जानकारी देनी होगी। उन्हें अखबार में इसका विज्ञापन देना होगा। विज्ञापन में यह बताना होगा, कि उन पर किन-किन धाराओं में मुकदमे दर्ज हैं। यही नहीं, जिस पार्टी से वह प्रत्याशी घोषित होगा उसे भी विज्ञापन के जरिए आम लोगों को यह बताना होगा, कि आखिर उनकी पार्टी ने आपराधिक पृष्ठभूमि वाला प्रत्याशी क्यों घोषित किया गया है?

दागी उम्मीदवार अपने क्रिमिनल रिकॉर्ड बताएंगे जनता को  

चुनाव आयोग ने साफ कहा है, कि दागी उम्मीदवारों को पर्चा वापस लेने की आखिरी तारीख से मतदान के दो दिन पहले तक के आपराधिक रिकॉर्ड अखबारों और टीवी चैनलों के जरिए मतदाताओं को बताने होंगे। उन्हें सभी लंबित आपराधिक मामलों का ब्योरा बड़े अक्षरों में अखबारों छपवाना होगा।

पारदर्शिता पर जोर  
uttar pradesh election 2022 election-commission new rules covid 19 guidelines political parties polling station COVID Protocol polling stationचुनाव आयोग ने कहा है, कि चुनाव में पारदर्शिता (Transparency) कायम रखने के लिए कम से कम एक लाख बूथ पर वेबकास्टिंग (webcasting) की जाएगी। यह पहली बार होगा जब इतनी बड़ी संख्या में पोलिंग बूथ पर वेबकास्टिंग ((webcasting) होगी। इसके जरिए लोग देख सकेंगे कि पूरी पारदर्शिता के साथ वोटिंग हो रही है।


समय और वोटर्स के लिए क्या होगा नया  

आयोग ने कोरोना महामारी के मद्देनजर मतदान का समय एक घंटे बढ़ाने का फैसला लिया है। बता दें, कि 52.8 लाख नए मतदाता जुड़े हैं। इनमें 23.9 लाख पुरुष और 28.8 लाख महिला मतदाता हैं। आयोग के मुताबिक, नए मतदाताओं में 19.89 लाख युवा मतदाता हैं। अर्थात इनकी उम्र 18-19 साल के बीच है। पहली बार महिला मतदाताओं की संख्या पुरुषों से अधिक हुई है। चुनाव आयोग ने कहा, कि साल 2017 में लिंगानुपात 839 था। मतलब, हजार पुरुषों पर 839 महिला वोटर थीं। इस बार यह बढ़कर 868 हो गया है। पांच लाख महिला मतदाताओं की संख्या में इजाफा हुआ है। उत्तर प्रदेश में इस वक्त 10 लाख 64 हजार 267 दिव्यांग मतदाता हैं।

मतदान बढ़ाने के लिए ये होंगे उपाय  

चुनाव आयोग आयोग की तरफ से साल 2017 में हुए विधानसभा और 2019 में हुए लोकसभा चुनाव का डाटा खंगाला जा रहा है। इन दोनों चुनाव में जिन पोलिंग बूथ पर कम मतदान हुए हैं, वहां घर-घर जाकर लोगों को जागरूक किया जाएगा। साथ ही, लोगों को मतदान फायदे बताए जाएंगे। 

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