कोरोना वैक्सीनेशन के लिए UP में पूरी तैयारी, टीकाकरण के लिए 1500 स्थान चिन्हित
मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने बताया कि टीकाकरण का शुभारम्भ 16 जनवरी को किया जायेगा। इस दिन 317 सत्र उत्तर प्रदेश में संचालित किये जायेंगे
लखनऊ: कोरोना टीकाकरण अभियान के पहले चरण के लिए प्रदेश में लगभग 1500 स्थान टीकाकरण के लिए चिन्हित किये गए हैं। इस चरण में मुख्य रूप से सरकारी चिकित्सालयों को चुना गया है। जिसमें मुख्य रूप से स्वास्थ्य केन्द्र, ब्लॉक स्तरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, जिला चिकित्सालय, जिला संयुक्त चिकित्सालय, जिला महिला चिकित्सालय, नगरीय स्वास्थ्य केन्द्र, रेलवे अस्पताल, सीजीएचएस चिकित्सालय, सरकारी एवं प्राइवेट मेडिकल कॉलेज आदि शामिल हैं।
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4,639 चिकित्सा अधिकारियों एवं अन्य स्टाफ को प्रशिक्षित किया जा चुका है
टीकाकरण के लिए प्रदेश में में 4,639 चिकित्सा अधिकारियों एवं अन्य स्टाफ को प्रशिक्षित किया जा चुका है। आपरेशनल गाइडलाइन के अनुसार ब्लाक लेवल पर 25,555 एएनएम तथा 1,50,748 आशा, एडब्ल्यूडब्ल्यू आदि को फ्रंटलाइन वर्कर के रूप में ट्रेनिंग दी जा चुकी है। टीकाकरण के सफल संचालन के लिए 3 ड्राइ रन्स 2 जनवरी, को लखनऊ के छह स्थानों पर, 5 जनवरी, को प्रत्येक जिले के छह स्थानों पर तथा 11 जनवरी को प्रदेश की सभी साइट्स पर आयोजित किये गये हैं।
मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने बताया
मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने बताया कि टीकाकरण का शुभारम्भ 16 जनवरी को किया जायेगा। इस दिन 317 सत्र उत्तर प्रदेश में संचालित किये जायेंगे, जिसमें से जिला महिला अस्पताल वाराणसी तथा एमएलबी मेडिकल कॉलेज, झांसी में टु-वे वेबकास्टिंग की जायेगी तथा अन्य 315 सत्र केवल व्यू ओनली मोड पर रहेंगे। उन्होंने कहा कि टीकाकरण शुभारम्भ के दिन प्रदेश के कोविड अस्पतालों के चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य कर्मियों का टीकाकरण प्राथमिकता के आधार पर कराया जाए।
कोविड-19 टीकाकरण किया जाना प्रस्तावित है
अपर मुख्य सचिव, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण अमित मोहन प्रसाद ने द्वितीय चरण में अन्य विभागों के फ्रन्टलाइन वर्कर्स का कोविड-19 टीकाकरण किया जाना प्रस्तावित है, जिसमें मुख्य रूप से राज्य एवं केन्द्रीय पुलिस विभाग, सशस्त्र बल, होमगार्ड, जेल कर्मचारी, आपदा प्रबन्धन एवं नगरपालिकाओं के अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं का कोविड-19 टीकाकरण किया जाना है। तृतीय चरण में 50 वर्ष से अधिक आयु के समस्त लोगों तथा 50 वर्ष से कम किन्तु डायबिटीज, सांस रोग, कैन्सर, उच्च रक्त चाप जैसे रोगों से ग्रसित व्यक्तियों का टीकाकरण किया जाएगा।
टीकाकरण सत्र आयोजित किये जा सकते हैं
बड़े शहरों में प्राइवेट चिकित्सालयों, जहां 100 से अधिक हेल्थ केयर वर्कर्स हैं, उनमें भी टीकाकरण सत्र आयोजित किये जा सकते हैं। प्रत्येक टीकाकरण स्थल पर लाभार्थियों की संख्या एवं स्थान की उपलब्धता के अनुसार एक से तीन सत्र आयोजित किये जायें। बड़े चिकित्सालयों में स्थान उपलब्ध होने पर तीन से अधिक सत्र आयोजित किये जा सकते हैं। प्रत्येक सत्र के लिए तीन कमरों की आवश्यकता होगी, जिन्हे प्रतीक्षालय, टीकाकरण कक्ष एवं निगरानी कक्ष के रूप में प्रयोग किया जायेगा।
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सत्र में दो सुरक्षाकर्मी-पुलिस, होमगार्ड कर्मी, एक जांचकर्ता, एक वैक्सीनेटर, एक मोबिलाइजर सहित कुल 5 कर्मियों की नियुक्ति की जाये एवं प्रथम एवं द्वितीय चरण में एक अतिरिक्त वैक्सीनेटर की भी नियुक्ति की जाये। उन्होंने बताया कि प्रत्येक टीकाकरण सत्र में लाॅजिस्टिक, दो वैक्सीन कैरियर प्रत्येक में चार कन्डीशनिंग आइसपैक, लाभार्थियों की संख्या के अनुसार वैक्सीन कैरियर में कोविड वैक्सीन, पर्याप्त संख्या में एडी सिरिंज, हब कटर, वैक्सीन वायल ओपनर, हैन्ड सैनिटाइजर एवं मास्क, पार्टीशन स्क्रीन, एनाफाईलेक्सीस किट, लाल एवं पीले बैग एवं कचरे के लिए थैला, ब्लू पन्चर प्रूफ कन्टेनर की व्यवस्था सुनिश्चित कराई जाये।
प्रत्येक टीकाकरण सत्र पर प्रतिदिन लगभग 100 लाभार्थियों को टीकाकरण किया जायेगा। प्रथम चरण में हेल्थ केयर वर्कर्स के टीकाकरण के लिए हर सप्ताह दो टीकाकरण सत्र आयोजित किये जायें, कार्ययोजना इस प्रकार तैयार की जाये कि सभी लाभार्थियों का टीकाकरण तीन दिनों में पूरा कर होगा।
रिपोर्ट- श्रीधर अग्निहोत्री
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