UP News: आजम खान, बेटे अब्दुल्ला और पत्नी तंजीन फात्मा को सात-सात की सजा का ऐलान, दो जन्म प्रमाण पत्र मामले में जेल

Birth Certificate Case: रामपुर की स्पेशल एमपी एमएलए कोर्ट ने समाजवादी पार्टी के नेता आज़म खान पत्नी डॉक्टर तंजीन फातिमा और बेटे अब्दुल्ला आजम खान को दो जन्म प्रमाण पत्र मामले में कोर्ट ने दोषी करार दिया है।

Written By :  Krishna Chaudhary
Update:2023-10-18 14:30 IST

father Azam khan and son Abdullah azam  (photo: social media )

Birth Certificate Case: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान मुकदमों के दलदल में धंसे हुए हैं। उनके बेटे अब्दुल्ला आजम की भी यही स्थिति है। इस चक्कर में दोनों अपनी विधायकी तक गंवा चुके हैं और उनकी पारंपरिक सीटों पर विरोधी दलों का कब्जा हो गया है। बुधवार को आजम खान के बेटे और पूर्व विधायक अब्दुल्ला आजम से जुड़े एक अन्य महत्वपूर्ण केस में भी कोर्ट ने फैसला सुना दिया। रामपुर की स्पेशल एमपी एमएलए कोर्ट ने समाजवादी पार्टी के नेता आज़म खान पत्नी डॉक्टर तंजीन फातिमा और बेटे अब्दुल्ला आजम खान को दो जन्म प्रमाण पत्र मामले में कोर्ट ने सात-सात साल की सजा सुनाई है। कोर्ट से सीधे तीनों लोगों का जेल जाना तय हो गया है।

अखिलेश ने कहा - किया जा रहा परेशान

सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने लिखा कि माननीय आज़म खान जी और उनके परिवार को निशाना बनाकर समाज के एक पूरे हिस्से को डराने का जो खेल खेला जा रहा है, जनता वो देख भी रही है और समझ भी रही है। कुछ स्वार्थी लोग नहीं चाहते हैं कि शिक्षा-तालीम को बढ़ावा देनेवाले लोग समाज में सक्रिय रहें। इस सियासी साज़िश के ख़िलाफ़ इंसाफ़ के कई दरवाज़े खुले हैं। ज़ुल्म करनेवाले याद रखें… नाइंसाफ़ी के ख़िलाफ़ एक अदालत अवाम की भी होती है।

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जानें क्या है पूरा मामला?

मामला 2017 के यूपी विधानसभा चुनाव का है। अब्दुल्ला आजम पहली बार सपा के टिकट पर चुनावी मैदान में रामपुर की स्वार टांडा सीट से उतरे थे और जीते भी। लेकिन उनके प्रतिद्वंदी बीएसपी उम्मीदवार नवाब काजिम अली खान ने हाईकोर्ट में इसे चैलेंज कर दिया। उन्होंने आरोप लगाया था कि अब्दुल्ला की उम्र चुनाव लड़ने लायक नहीं है। नवाब काजिम अली खान ने इसके सबूत भी पेश किए। शैक्षिक प्रमाण पत्रों में अब्दुल्ला की जन्मतिथि 1 जनवरी 1993 है, जबकि बर्थ सर्टिफिकेट के आधार पर उनका जन्म 30 सितंबर 1990 को हुआ है। हाईकोर्ट ने सुनवाई करते हुए अब्दुल्ला की ओर से पेश किए गए जन्म प्रमाण पत्र को फर्जी पाया था और स्वार सीट से उनकी विधायकी रद्द कर दी थी।

2019 में दर्ज हुआ दो जन्म प्रमाण पत्र रखने का मुकदमा

अब्दुल्ला आजम के लिए नई मुश्किलें 2019 में तब खड़ी हुईं, जब रामपुर सीट से मौजूदा बीजेपी विधायक आकाश सक्सेना ने उनके खिलाफ दो जन्म प्रमाण पत्र रखने का मुकदमा गंज थाने में दर्ज करवाया। इस मामले में उनके पिता आजम खान और मां तंजीन फातिमा को भी आरोपी बनाया गया था। सक्सेना का आरोप है कि साल 2017 में अब्दुल्ला आजम ने दो जन्म प्रमाण पत्र बनवाकर चुनाव में इस्तेमाल किया था। रामपुर की स्पेशल एमपी एमएलए कोर्ट इसी पर फैसला सुनाने जा रही है।

बता दें कि 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान जो शफीक अंसारी अब्दुल्ला आजम के प्रस्तावक बने थे, आज वे उन्हीं की स्वार टांडा सीट से अपना दल के विधायक हैं।

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