Gorakhpur News: साइबर ठगों के ये हैं नये पैतरे, ऐसे बचा सकते हैं बैंक खातों को खाली होने से

Gorakhpur News: गोरखपुर में साइबर ठगी के मामले महीने में 15 से 20 आते थे लेकिन अब रोज 6 से 10 लोग ऑनलाइन ठगी का शिकार हो रहे हैं।

Update:2024-05-14 07:31 IST

साइबर ठगी (प्रतीकात्मक तस्वीर)

Gorakhpur News: साइबर ठगी के मामलों में रोज इजाफा हो रहा है। लोग शातिर ठगों के एक पैतरे से सजग हो रहे तो दूसरा तरीका शुरू हो जा रहा है। साइबर थाने की तरफ से रोज सर्तक किया जा रहा है। लेकिन शातिर पुलिस के अधिकारियों को भी ठगने में कामयाब हो रहा है। गोरखपुर में साइबर ठगी के मामले महीने में 15 से 20 आते थे लेकिन अब रोज 6 से 10 लोग ऑनलाइन ठगी का शिकार हो रहे हैं।

डिजिटल अरेस्ट, वॉयस क्लोनिंग, एकाउंट और एटीएम कार्ड बंद होने, अश्लील चैटिंग, रेटिंग लाइक्स और कमेंट, घर बैठे पैकिंग के नाम पर रुपये कमाने, मॉडलिंग का विज्ञापन देकर सहित अन्य तरीकों से जालसाज ठगी कर रहे हैं। इनमें सबसे ज्यादा ठगी डिजिटली अरेस्ट की सामने आ रही है। बीते एक माह के भीतर आधा दर्जन से अधिक तरीके सामने आए हैं, जिनसे लोगों को शिकार बनाकर जालसाजों ने ठगी की है। साइबर एक्सपर्ट का कहना है कि वर्तमान में डिजिटल अरेस्ट के सहारे ठगी ज्यादा हो रही है। सावधानी बरतकर ही इससे बचा जा सकता है। डिजिटल अरेस्ट में साइबर ठग फोन करके बताते हैं कि उनके बेटे या परिवार के किसी सदस्य के नाम से कोई शिकायत दर्ज हुई है। गिरफ्तारी से लेकर एनकाउंटर की धमकी के बाद पीड़ित मुश्किल में फंसता है तो गिरोह के ही सदस्यों द्वारा पीड़ितों को मदद देने का आश्वासन दिया जाता है। इसके बाद जालसाज की बात मानकर दिए गए बैंक नंबर पर रुपये का ट्रांजेक्शन कर देता है।

थोड़ी सतर्कता से बचें बड़ी ठगी से

साइबर एक्सपर्ट एसआई उपेंद्र सिंह ने बताया कि जालसाजी करने वाले साइबर ठग कुछ मोबाइल नंबरों पर कॉल करते हैं। इसमें किसी इनाम या ऑफर का लालच देकर बैंक की डिटेल ले लेते हैं। अपनी बातों में उलझाकर ओटीपी भी प्राप्त करते हैं। इसके बाद वह कुछ ही देर में रुपये गायब कर देते हैं। लोगों की फेसबुक प्रोफाइल हैक करके उनके परिचितों को मैसेज भेजकर मुसीबत में फंसे होने की बात करते हुए रुपये मांगते हैं। थोड़ी सी सावधानी से लोग ठगी से बच सकते हैं। पुलिस की तरफ से एडवाइजरी जारी की जा रही है कि ऑनलाइन ऑफर या छूट के बहकावे में न आएं। अनजान व्यक्ति जब भी फोन करे तो उसकी बातों में न आएं। किसी के मदद मांगने या लिंक पर क्लिक करने की बात कहने पर सावधान हो जाएं। मदद मांगने वाले व्यक्ति की बात पर तत्काल यकीन करने की बजाय परिचितों को फोन करके सूचना पुष्ट करें। फेसबुक, एक्स, इंस्ट्राग्राम इत्यादि की आईडी का पासवर्ड स्ट्रांग रखें। बैंक कर्मचारी कभी भी फोन पर जानकारी नहीं मांगते हैं। यदि कोई जानकारी मांगे तो सजग हो जाएं।

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