Moradabad News: एक दिन की विधवा को पुलिस ने बना दिया हत्या का आरोपी, पति का चेहरा भी नहीं देख पाई पत्नी

मुरादाबाद पुलिस ने रिपोर्ट में अपने साथियों को बचाने में सफलता प्राप्त कर ली है। घटना और पुलिस की कारगुजारी फिलहाल क्षेत्र में चर्चा बनी हुई है।;

Report :  Sudhir Goyal
Published By :  Deepak Kumar
Update:2021-12-19 23:05 IST

Moradabad News: एक दिन की विधवा को पुलिस ने बना दिया हत्या का आरोपी। 

Moradabad News: यूपी पुलिस (UP Police) ने फिर खेल कर दिया। इस बार पुलिस ने अपने आप को बचाने के लिए एक दिन की विधवा को हत्यारोपी बना दिया है। यही नहीं पति के अंतिम संस्कार से पहले ही महिला को हिरासत में भी ले लिया गया है। हालांकि केस बहुत गहरा और कई पहलुओं पर बाारीकी से जांच होनी भी जरूरी है। बहरहाल, मुरादाबाद पुलिस (Moradabad Police) ने रिपोर्ट में अपने साथियों को बचाने में सफलता प्राप्त कर ली है, अब देखना ये है कि तफ्तीश में पुलिस का क्या रवैया रहता है। घटना और पुलिस की कारगुजारी फिलहाल क्षेत्र में चर्चा बनी हुई है।

विगत गुरुवार को पति-पत्नी में हुआ था विवाद

दरअसल, जिले के थाना भोजपुर (police station bhojpur) के गांव सेहल में रहने वाला भूपेंद्र पांडेय विवेकानंद नर्सिंग होम (Vivekananda Nursing Home) में नर्सिंग सुपरवाइजर के पद पर तैनात था। गुरुवार रात भूपेंद्र का पत्नी साधना से विवाद हो गया था। साधना ने मायके वालो को बताया तो सुबह परिजन आ गए। भूपेंद्र के परिजनों के अनुसार विवाद बढ़ने पर शुक्रवार सुबह करीब दस बजे पीआरवी में तैनात दो पुलिस कर्मी भूपेंद्र के घर पहुंचे।

आरोप है कि सिपाहियों ने भूपेंद्र के साथ गाली-गलौच की और उसे गिरफ्तार करके पुलिस वाहन में बैठाने लगे। विरोध करने पर पुलिस वालों ने डंडों से पिटाई कर दी। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक एक बार तो भूपेंद्र गांव से भाग गया था, लेकिन पुलिस वालों ने भूपेंद्र के छोटे भाई को पकड़ लिया। छोटे भाई के फोन करने पर भूपेंद्र लौट आया। ग्राम प्रधान भी मौके पर आ गए थे। परिजनों के अनुसार पुलिस कर्मियों ने भूपेंद्र को गाड़ी में बैठाकर ले गए। रास्ते में हालत बिगड़ने पर फ्रोटोन अस्पताल ले गए, जहां हालत गंभीर होने पर एशियन विवेकानंद लेकर आए। यहां चिकित्सकों ने भूपेंद्र को मृत घोषित कर दिया।

पति के अंतिम दर्शन से भी महरूम रह गई साधना

गौरतलब हो कि भूपेंद्र की मौत होने से परिवार व ग्रामीणों में आक्रोश फैल गया। उन्होंने अस्पताल के सामने हाईवे पर शव रखकर जाम लगा दिया था। पुलिस के खिलाफ नारेबाजी करते लोगों ने हंगामा किया। हंगामे की सूचनाा पर आए एसपी देहात विद्याशंकर (SP Dehat Vidyashankar) व सीओ ठाकुरद्वारा (CO Thakurdwara) ने परिजनों की मांग पर पुलिस को शव को कब्जे में लेकर परीक्षण कराने के निर्देश दिए थे। उन्होंने पत्रकारों से कहा था कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आधार पर आरोपी पुलिस कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। हालांकि पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मौत का कारण बहुत स्पष्ट नहीं होने पर विसरा जांच के लिए भेजने पर फैसला हुआ है। हालांकि पोस्टमार्टम दो चिकित्सकों ने किया था और वीडियोग्राफी भी कराई गई थी। पत्नी साधना को पुलिस द्वारा रात में हिरासत में लेने के कारण वह पति के अंतिम दर्शन भी सही से नहीं कर सकी।

दरअसल, भूपेंद्र पांडेय के पोस्टमार्टम के बाद पुलिस का खेल शुरू हुआ। खाकी को बचाने के लिए कई मर्तबा तहरीर लिखी और फाड़ी गई। परिजन सिपाहियों के नाम भी शामिल करना चाहते थे, लेकिन पुलिस दबाव में कुछ लोग इसके लिए राजी नहीं हुए। बहरहाल, तहरीर के आधार पर साधना और उसके दो भाइयों प्रदीप व विनोद पुत्र पशुपति पांडेय निवासी गंगापुर थाना मिलक जिला रामपुर को हत्या का आरोपी बनाया गया है। गांव में तनातनी के कारण पीएसी तैनात कर दी है और शनिवार दोपहर बाद भूपेंद्र का अंतिम संस्कार कर दिया गया।

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