आगरा: आगरा शनिवार को यूपी का सबसे प्रदूषित शहर रहा। आगरा में शनिवार सुबह 10 बजे पीएम 2.5 का स्तर 451 तक पहुंच गया। इससे आगरा यूपी का सबसे ज्यादा प्रदूषित शहर बन गया। सुबह से ही शहर में धुंध छाई रही जो दिनभर रही।
आगरा में सुबह सात बजे के आसपास तो दृश्यता लगभग शून्य थी। इसके बाद धुंध हल्की जरूर हुई, लेकिन खत्म नहीं हुई। इससे सांस संबंधी समस्याएं बढ गई।
जिला प्रशासन ने जारी किया अलर्ट
आगरा में जहरीली धुंध पीएम 2.5 का स्तर हेजडर्स जोन यानि सबसे खतरनाक स्तर तक पहुंच गया है। इसके बाद जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी किया है। यह स्तर 300 तक पहुंच जाता है तो किसी भी उम्र के लोगों के लिए खुले में घूमना खतरनाक हो सकता है।
ताजनगरी में छाया धुंध
दिल्ली-एनसीआर के साथ आगरा में धुंध छाया हुआ है। दीपावली के बाद से पीएम 2.5 का स्तर लगातार बढ रहा है। केंद्रीय प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड के रीयल टाइम एयर क्वालिटी इंडेक्स के मुताबिक, आगरा में शुक्रवार को पीएम (2.5) का स्तर 291 माइक्रोग्राम तक पहुंच गया। इसके 300 माइक्रोग्राम तक पहुंचने पर हेजडर्स जोन माना जाता है। यह स्तर सुबह और रात को ज्यादा बढ रहा है।
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अस्थमा के मरीजों की सांसें फूल रही
इससे अस्थमा के मरीजों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। उन्हें घर से बाहर निकलने पर सांस लेने में तकलीफ हो रही है। अस्पतालों में भी मरीजों की संख्या तेजी से बढी है।
क्या होता है पीएम-2.5
पीएम-2.5 (पार्टिकुलेट मैटर) से हवा की क्वालिटी की जांच की जाती है। इसमें वायु प्रदूषण के सूक्ष्म कण होते हैं, ये सीधे फेफड़ों तक पहुंचते हैं। इससे अस्थमा अटैक के साथ ही सांस लेने में समस्या होने लगती है। इससे वातावरण धुंधला हो जाता है।
पीएम-2.5 (पार्टिकुलेट मैटर) ऐसे कण हैं जिसकी साइज 2.5 माइक्रोग्राम से भी कम होता है। ये कण आसानी से नाक और मुंह के जरिए बॉडी के अंदर तक पहुंचकर लोगों को बीमार बना सकते हैं।