Sonbhadra News: बसंती पंचमी पर कंडाकोट में शुरू होगा नौ दिनी रूद्रचंडी महायज्ञ, शिवद्वार- त्रिवेणी संगम सहित कई मंदिरों पर लगेगा मेला, जाने कहां क्या रहेगी तैयारी?
Sonbhadra News Today: कंडाकोट में तीन से 11 फरवरी तक आयोजित किए जाने वाले नौदिनी रूद्रचंडी महायज्ञ में जहां दिन में यज्ञ का आयोजन किया जाएगा।;
Sonbhadra News in Hindi: सोनभद्र, बसंत पंचमी तीन फरवरी को मनाई जाएगी। इसको लेकर मंदिर और मेला आयोजन समितियों की तरफ से तैयारियां तेज कर दी गई हैं। कण्व ऋषि की तपोस्थली का दर्जा रखने वाले कंडाकोट में जहां, बसंत पंचमी पर नौ दिनी रूद्रचंडी महायज्ञ की शुरूआत की जाएगी। वहीं, कंडाकोट के साथ ही, गुप्तकाशी के प्रवेश द्वार का दर्जा रखने वाले शिवद्वार, ओमकारेश्वर घाटी स्थित महामंगलेश्वर महादेव, त्रिवेणी संगम गोठानी स्थित सोमनाथ महादेव, बरैला स्थित मनकामेश्वर महादेव, गौरीशंकर स्थित गौरीशंकर महादेव, कोन क्षेत्र स्थित पिंडारी गुफा, ओबरा क्षेत्र के दुअरा घाटी स्थित अमर गुफा, रेणुकूट स्थित रेणुकेश्वर महादेव, रौप पहा़ड़ी स्थित पंचमुखी महादेव, रीवा-रांची राष्ट्रीय राजमार्ग किनारे घिवही स्थित शिवधाम, नल-दमयंती कथानक से जुड़े नलेश्वर महादेव सहित अन्य शिव मंदिरों पर भक्तों के उमड़ने के साथ ही मेला का आयोजन किया जाएगा। इसको लेकर तैयारियां तेज कर दी गई हैं।
कंडाकोट में यज्ञ के साथ होगी रामलीला और शिवपुराण कथा
कंडाकोट में तीन से 11 फरवरी तक आयोजित किए जाने वाले नौदिनी रूद्रचंडी महायज्ञ में जहां दिन में यज्ञ का आयोजन किया जाएगा। वहीं शाम छह बजे से रात नौ बजे तक शिवपुराण कथा और रात नौ बजे से भोर के चार बजे तक रामलीला का आयोजन किया जाएगा। वाराणसी से आई कलाकारों की टीम रामलीला की प्रस्तुति देगी। वहीं, शिवपुराण कथा व्यास की जिम्मेदारी अनुज कुमार शुक्ला और रामलीला व्यास का दायित्व श्यामसुंदर पांडेय संभालेंगे। यज्ञ के मुख्य यजमान की जिम्मेदारी कंडाकोट संरक्षण विकास सेवा ट्रस्ट के प्रबंधक धनंजय और अध्यक्ष सर्वेश तिवारी द्वारा संभाली जाएगी। आचार्य मंडल की अगुवाई अरविंद त्रिपाठी करेंगे।
शिवद्वार में होंगे विशेष इंतजाम, तीसरी आंख की बनी रहेगी रहेगी
ऐतिहासिक धाम शिवद्वार में बसंत पंचमी पर दर्शन पूजन के लिए विशेष इंतजाम किए जा रहे हैं। मंदिर के पास बैरियर लगाकर जहां भीड़ और वाहनों को नियंत्रित किया जाएगा। वहीं, मंदिर परिसर में दर्शनार्थियों के लिए बैरिकेडिंग की व्यवस्था बनाई जा रही है। कहीं से कोई अव्यवस्था न होने पाए, इसके लिए पुलिस के साथ जहां मंदिर समिति के वालंटियर तैनात रहेंगे। एक दिनी मेले पर भी सतर्क नजर बनाए रखी जाएगी। वहीं, गर्भगृह, मंदिर परिसर और गेट पर तीसरे कैमरे की नजर बनी रहेगी।
सुबह चार बजे दर्शन-पूजन के लिए खोल दिए जाएंगे मंदिर के पट
मंदिर के पुजारी अजय गोस्वामी ने बताया कि सुबह चार बजे मंदिर के पट दर्शन-पूजन के लिए खोल दिए जाएंगे। श्रृंगार पूजन-मंगला आरती के बाद श्रद्धालुओं का मंदिर में प्रवेश शुरू हो जाएगा। बसंत पंचमी पर आने वाली भारी भीड़ को देखते हुए, उमा-माहेश्वर विग्रह का स्पर्श प्रतिबंधित रहेगा। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए दोपहर 12 से एक बजे तक बंद रहने वाला मंदिर बसंत पंचमी पर दोपहर 12 से साढ़े 12 बजे तक ही बंद रखा जाएगा।