UP Budget 2024: MBBS-PG सीटों की संख्या में वृद्धि, निशुल्क डायलिसिस, स्वास्थ्य सेवाओं पर सरकार ये रोडमैप

UP Budget 2024: योगी के नेतृत्व में प्रदेश के सभी 75 जिलों में जनता को निशुल्क डायलिसिस की सुविधाएं सरकार द्वारा मुहैया करवाई जा रही हैं। राज्य में पेशवार डॉक्टर की संख्या में इजाफा हुआ तो इसके लिए सरकार ने भी चिकित्सा संस्थानों में MBBS सीटों की संख्या में वृद्धि की है।

Report :  Viren Singh
Update:2024-02-05 12:55 IST

up budget 2024 (सोशल मीडिया) 

UP Budget 2024: योगी सरकार ने वित्त वर्ष 2024-25 का बजट विधानसभा में पेश किया। सोमवार को राज्य के वित्त मंत्री सरेश खन्ना ने प्रदेश को रफ्तार देने के लिए 7 लाख 36 हजार 437 करोड़ 71 लाख रुपये का बजट पेश किया। इसमें 24 हजार करोड़ रुपए की नई योजनाएं लाई गई हैं। वित्तीय वर्ष के बजट में राजकोषीय घाटा 3.46 फीसदी है। इस बजट में सरकार ने राज्य में लोगों को उत्तम स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए हेल्थ क्षेत्र के लिए भी अपना पिटारा खुला। वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने विधानमंडल के जरिये यूपी की जनता को बताया कि चिकित्सा क्षेत्र में यूपी में अचीवर की श्रेणी प्राप्त की है। सीएम योगी के नेतृत्व में राज्य में चिकित्सा क्षेत्र में बड़ा विस्तार हुआ है।

एक्यूट इंसेफ्लाइटिस सिंड्रोम-जापानी इंसेफ्लाइटिस में आई बड़ी गिरावट

वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि राज्य सरकार के प्रयासों से प्रदेश में मातृ मृत्यु दर और शिशु मृत्यु दर में बड़ी गिरावट आई है। साल 2014 में मातृ मृत्यु दर 285 प्रति लाख था, जबकि वर्ष 2022 में यह घटकर 167 प्रति लाख पर आ गया है। इसी तरह शिशु मृत्यु दर साल 2014 में 78 प्रति हजार पर था और यह 2020 में कम होकर 38 प्रति हजार पर पहुंच गया है। वहीं, एक्यूट इंसेफ्लाइटिस सिंड्रोम में रोगियों और मौत दरों में बड़ी गिरावट आई है। वर्ष 2017 की तुलना में साल 2023 एक्यूट इंसेफ्लाइटिस सिंड्रोम में रोगियों की संख्या में 76 फीसदी तथा मृत्यु दर 58 प्रतिशत की कमी आई है। जापानी इंसेफ्लाइटिस इंफ्सफाइट्स की रोगियों की संख्या में 95 फीसदी की गिरावट आई है और मृत्यु दर में 96 फीसदी की कमी आई है।

इतनी बढ़ी MBBS-PG की सीटें, निशुल्क डायलिसिस सेवाएं

खन्ना कहा कि योगी के नेतृत्व में प्रदेश के सभी 75 जिलों में जनता को निशुल्क डायलिसिस की सुविधाएं सरकार द्वारा मुहैया करवाई जा रही हैं। राज्य में पेशवार डॉक्टर की संख्या में इजाफा हुआ तो इसके लिए सरकार ने भी चिकित्सा संस्थानों में MBBS सीटों की संख्या में वृद्धि की है। उन्होंने बताया कि प्रदेश सरकार ने सरकारी चिकिस्ता संस्थानों में एमबीबीएस की सीटों की संख्या 1840 से बढ़कर 3828 सीटें कर दी गई हैं, जबकि निजी क्षेत्रों में एमबीबीएस की सीटों की संख्या 2550 से बढ़कर 5250 हो गई हैं। इस प्रकार कुल राज्य में MBBS सीटों की संख्या 9078 हो गई हैं। वहीं, राज्य में सरकार ने मेडिकल की पढ़ाई के लिए पीजी सीटों की संख्या में भी वृद्धि की है। खन्ना बताया कि सरकार ने सरकारी चिकित्सा संस्थानों में पीजी की सीटों की संख्या 741 से बढ़कर 1543 कर दी गई है, जबकि निजी क्षेत्र में पीजी सीटों की संख्या 480 से बढ़कर 1775 हो गई हैं। इस पर यूपी में पीजी की पढ़ाई के लिए सीटों की संख्या 3318 हो गई है।

प्रदेश में इतने वितरित किये गए आयुष्मान कार्ड

केंद्र सरकार की आयुष्मान भारत योजना की राज्य में गति के बारे में भी वित्त मंत्री ने जानकारी दी। उन्होंने बताया कि योगी सरकार ने प्रदेश में आयुष्मान भारत योजना के तहत 4 करोड़ 78 लाख से अधिक आयुष्मान कार्ड वितरण किये हैं। इसके तहत प्रदेश राजकीय एवं निजी अस्पतालों में प्रति वर्ष हर लाभार्थियों को 5 लाख रुपये का मुफ्त इलाज मुहैया कराया जा रहा है।

मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष योगी सरकार ने रचा कीर्तिमान 

पिछली सरकार की तुलना में योगी सररकार में मुख्यमंत्री विवेकाधीन से प्रदेश की जनता के लिए इलाज के लिए राशि में काफी इजाफा हुआ है। सुरेश खन्ना ने सदन को बताया कि वर्ष 2007 से 2017 तक 10 वर्ष की अवधि में मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष से 60,970 व्यक्तियों को चिकित्सा सहायता के रूप में 638 करोड़ 26 लाख की राशि स्वीकृत की गई है, जबकि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कार्यकाल के दौरान 7 वर्षों से भी कम समय में 1,61,962 व्यक्तियों के इलाज का लाभ मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष से मिला चुका है। इस पर सरकार ने 27 सौ 75 करोड़ रुपये स्वीकृत किया जा चुके हैं, जो कि अपने आप में एक कीर्तिमान है।

स्वास्थ्य सुविधाओं का बखान कविता के जरिये किया

सुरेश खन्ना ने कहा कि सीएम योगी के नेतृत्व में प्रदेश में चिकित्सा क्षेत्र में विस्तार हुआ और बड़ी संख्या में आयुष्मान कार्ड वितरण किया गया है, वह अन्य राज्यों के एक बड़ी मिसाल है। उन्होंने कहा कि मान्यवर प्रदेश का आम आदमी आज सीएम योगी के बारे में सोचता है एक कविता पड़ी। उन्होंने कहा कि मुक्त हों कर्तव्य की चिताओं से दर्द से दुख से मुझे आराम है। हर किसी के वास्ते वस्तु है, यह हमारे ऐश्वर्या का परिणाम है।

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