जयपुर:लोग फास्टफूड और चटपटी चीजों का स्वाद लेना पसंद कर रहे हैं, जिसमें से अधिकाश आहार मैदा से बने हुए होते हैं। मैदा व्यक्ति के जीवन के लिए अभिशाप बन चुका है जो धीमे जहर की तरह शरीर को खोंखला करता जा रहा हैं और बीमारियों को आगमन दे रहा हैं। मैदा के अधिक खानपान की वजह से शरीर का इम्यून सिस्टम तकलीफ देने लगता हैं और यह कई बिमारियों का कारण बनता हैं। मैदा की वजह से होने वाली बड़ी परेशानियों के बारे में आपको बताने जा रहे हैं।
मैदे में ग्लूटन होता है जोकि फूड एलर्जी को पैदा करता है। इसमें भारी मात्रा में ग्लूटन पाया जाता है जो खाने को लचीला बनाकर उसको मुलायम टेक्सचर देता है। वहीं गेंहू के आटे में ढेर सारा फाइबर और प्रोटीन पाया जाता है।
मैदा खाने का एक और बड़ा नुकसान यह है कि इससे पेट के कई रोग हो सकते हैं। मैदे में फाइबर की मात्रा नहीं होती है। जिस वजह से पेट की आंत इसे सही तरह से नहीं पचा पाती है । और इसकी वजह से पेट में ऐठनए पेट का दर्द और पेट खराब हो जाता है।
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मैदा बनाते वक्त इसमें से प्रोटीन निकल जाता है और यह एसिडिक बन जाता है जो हड्डियों से कैल्शियम को खींच लेता है। इससे हड्डियां कमजोर हो जाती हैं।बहुत ज्यादा मैदा खाने से शरीर का वजन बढ़ना शुरु हो जाता है। यही नहीं इससे कोलेस्ट्रॉल का लेवल और खून में ट्राइग्लीसराइड भी बढ़ता है।
मैदा अधिक खाने वाले लोगों को गठिया की समस्या हो सकती है। मैदा शरीर के जोड़ो में जाकर हड्डियों में मौजूद कैल्श्यिम को सोख लेता है जिस वजह से गठिया जैसी गंभीर बीमारी हो सकती है। इसलिए जितना हो सके मैदे से परहेज करें।
मैदा खाने से डायबिटीज बढ़ती है। यही नहीं जिन लोगों को डायबिटीज की समस्या नहीं भी होती है उन्हें मैदा खाने से यह बीमारी हो सकती है। मैदा शरीर में ब्लड शुगर के स्तर को बढ़ा देता है। जिसकी वजह से शरीर में इंसुलिन का बढ़ना रूक जाता है और इस वजह से इंसान मधुमेह की चपेट में आ जाते हैं।