Maharashtra: बड़े सियासी खेल की तैयारी,अजित की अगुवाई में 30 विधायक दे सकते हैं शरद पवार को झटका
Maharashtra: अजित पवार की अगुवाई में पार्टी के करीब 30-35 विधायकों के टूटने की संभावना जताई जा रही है। जानकार सूत्रों का कहना है कि अजित पवार की अगुवाई में ये विधायक भाजपा से हाथ मिलाने को तैयार हैं।
Maharashtra: महाराष्ट्र में एक बार फिर बड़े सियासी खेल के आसार दिख रहे हैं। राज्य में उद्धव ठाकरे को बड़ा झटका लगने के बाद अब एनसीपी मुखिया शरद पवार को बड़ा सियासी झटका लगने की संभावना है। एनसीपी नेता अजित पवार की अगुवाई में पार्टी के करीब 30-35 विधायकों के टूटने की संभावना जताई जा रही है। जानकार सूत्रों का कहना है कि अजित पवार की अगुवाई में ये विधायक भाजपा से हाथ मिलाने को तैयार हैं।
अजित पवार के पिछले कई दिनों से भाजपा के साथ हाथ मिलाने की संभावना जताई जा रही है। पिछले दिनों उन्होंने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और राज्य के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस के साथ सह्याद्रि गेस्ट हाउस में बैठक भी की थी। भाजपा और शिंदे को सहयोग देने के लिए वे पार्टी में समर्थन जुटाने की कोशिश में लगे हुए हैं। अजित पवार को पार्टी के कई वरिष्ठ नेताओं का समर्थन भी हासिल बताया जा रहा है।
अजित पवार को वरिष्ठ नेताओं का समर्थन
मौजूदा समय में महाराष्ट्र विधानसभा में एनसीपी के 53 विधायक हैं और सूत्रों का कहना है कि पार्टी के आधे से अधिक विधायक टूटकर भाजपा के साथ जा सकते हैं। अजित पवार खुद ही इस मुहिम में जुटे हुए हैं और उन्हें पूर्व के केंद्रीय मंत्री और पार्टी के वरिष्ठ नेता प्रफुल्ल पटेल, छगन भुजबल, धनंजय मुंडे और सुनील तटकरे जैसे वरिष्ठ नेताओं का समर्थन भी हासिल है।
Also Read
सूत्रों का कहना है कि अजित पवार गुट के विधायकों ने पार्टी मुखिया शरद पवार से मिलकर भाजपा गठबंधन के साथ जाने की इच्छा जताई थी मगर पवार ने भाजपा और शिंदे गुट के साथ समर्थन करने से इनकार कर दिया। इसके बावजूद अजित पवार अपनी मुहिम में जुटे हुए हैं और उन्हें 30 से 35 विधायकों के समर्थन की बात सामने आ रही है। सूत्रों के मुताबिक एनसीपी के प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटिल भाजपा के साथ गठबंधन के खिलाफ हैं मगर अधिकांश विधायक भाजपा के साथ हाथ मिलाने को तैयार दिख रहे हैं।
विधायकों से संपर्क साधे हुए हैं अजित पवार
भाजपा इस बार अजित पवार उनके समर्थक विधायकों की संख्या को लेकर पूरी तरह आश्वस्त हो जाना चाहती है। इसी कारण और अजित पवार भी काफी सतर्क हैं और अपने समर्थक विधायकों से बातचीत करके उनके मन की बात जानने की कोशिश कर रहे हैं। जानकार सूत्रों का कहना है कि अजित पवार ने हाल के दिनों में कई विधायकों को फोन करके उनसे पूछा है कि वे भाजपा शिंदे गुट का समर्थन करने को तैयार है या नहीं?
अजित पवार अभी तक पार्टी तोड़ने की हिम्मत नहीं दिखा सके हैं। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने शिवसेना तोड़कर उद्धव ठाकरे को बड़ा झटका दिया था मगर अजित पवार अभी ऐसी स्थिति में नहीं दिख रहे हैं।
जानकारों के मुताबिक अजित पवार गुट के कई नेताओं का भी मानना है कि भाजपा और शिंदे गुट से गठबंधन के लिए पार्टी के मुखिया शरद पवार को भी तैयार कर लिया जाए। हालांकि शरद पवार अभी तक इसके लिए तैयार नहीं दिख रहे हैं। अजित पवार को 2019 जैसी शर्मिंदगी का खतरा भी सता रहा है और इसी कारण वे काफी फूंक-फूंक कर कदम रख रहे हैं।