प्रसिद्ध दुर्लभ जड़ी-बूटी वियाग्रा के खोज में निकले 8 लोगों की मौत
बता दें कि अपने कामोतेजक गुणों के लिए विख्यात यार्सागुम्बा केवल 10,000 फुट से अधिक ऊंचे हिमालय के पहाड़ों में पाया जाता है। इस दुर्लभ औषधि की बिक्री अमेरिकी और एशियाई चुनावों में काफी अधिक होती है।
काठमांडू: हिमालयी वियाग्रा के नाम से प्रसिद्ध दुर्लभ जड़ी-बूटी यार्सागुम्बा को नेपाल के डोल्पा जिले में इकटठा करते समय कम से कम आठ लोगों की मौत हो गई। स्थानीय पुलिस ने इस बात की जानकारी दी।
बता दें कि अपने कामोतेजक गुणों के लिए विख्यात यार्सागुम्बा केवल 10,000 फुट से अधिक ऊंचे हिमालय के पहाड़ों में पाया जाता है। इस दुर्लभ औषधि की बिक्री अमेरिकी और एशियाई चुनावों में काफी अधिक होती है।
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पुलिस ने कहा कि पिछले एक सप्ताह में इस दुर्लभ औषधि को इकट्ठा करते हुए कम से कम आठ लोगों की मौत हो गई। हर गर्मियों में, लोग इस बहुमूल्य जड़ी-बूटी की खोज में मीलों दूर से आते हैं, जो पूरे एशिया और अमेरिका में 100 अमरीकी डॉलर प्रति ग्राम से भी अधिक में बिकती है।
पुलिस के अनुसार पिछले सप्ताह इस दुर्लभ औषधि को इकट्ठा करने के लिए निकले लोगों में कम से कम 8 लोगों की मौत हो गई। रिपोर्ट्स के मुताबिक, 8 लोगों की मौत में एक बच्चा भी शामिल है। बच्चा अपनी मां के साथ था और ऊंचाई पर होने वाली स्वास्थ्य समस्याओं को बर्दाश्त नहीं कर सका।
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जानकारी के अनुसार 8 में से 5 लोगों की मौत बहुत ऊंचाई पर ऑक्सिजन की कमी के कारण हो गई। 2 लोग इस बूटी को एक खड़ी चट्टान से इकट्ठा करते वक्त दुर्घटना के शिकार हो गए और गिरने से उनकी मौत हो गई। मृतकों में एक छोटा बच्चा भी शामिल है जिसे उसकी मां अपने साथ लेकर गई थी। बच्चे का शरीर ऊंचाई और तापमान को झेल नहीं पाया।
बताया जाता है कि हर साल गर्मियों में हिमालय के आसपास रहनेवाले लोग इस बहुमूल्य जड़ी-बूटी की खोज में बहुत ऊंचाई तक जाते हैं। पूरे एशिया और अमेरिका में 100 अमरीकी डॉलर (लगभग 7,000 रुपये) प्रति ग्राम से भी अधिक में यह जड़ी-बूटी बिकती है। स्थानीय अधिकारियों ने यार्सागुम्बा को इकट्ठा करने जानेवाले लोगों के लिए स्वास्थ्य कैंप भी बनाए गए हैं।