अयोध्या केस: SC के 5 नए जजों की बेंच, पुनर्विचार याचिकाओं पर आज करेंगे सुनवाई
अयोध्या मामले में गुरूवार को दाखिल पुनर्विचार याचिकाओं पर सुनवाई होगी। देश के चीफ जस्टिस एसए बोबडे की अध्यक्षता वाली 5 जजों की पीठ इस मामले में फिर सुनवाई करेगी। इस केस में चीफ जस्टिस के साथ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस एस अब्दुल नजीर और संजीव खन्ना सुनवाई करेंगे।
नई दिल्ली : अयोध्या मामले में आज गुरूवार को दाखिल पुनर्विचार याचिकाओं पर सुनवाई होगी। देश के चीफ जस्टिस एसए बोबडे की अध्यक्षता वाली 5 जजों की पीठ इस मामले में फिर सुनवाई करेगी। इस केस में चीफ जस्टिस के साथ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस एस अब्दुल नजीर और संजीव खन्ना सुनवाई करेंगे। सुनवाई दोपहर 1 बजकर 40 मिनट से शुरू होगी जो बंद कमरे में चलेगी। अयोध्या मामले पर फैसला सुनाने वाले पहले बेंच के पूर्व चीफ जस्टिस रंजन गोगोई रिटायर हो गए हैं।
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शीर्ष अदालत ने अयोध्या जमीन विवाद मामले में 9 नवंबर को अपना फैसला सुनाया था। अदालत ने विवादित जमीन रामलला को यानी राम मंदिर बनाने के लिए देने का फैसला किया था। अयोध्या मामले में सुप्रीम कोर्ट के पांच जजों की विशेष पीठ के सामने 9 नवंबर को आए फैसले पर पुनर्विचार के लिए कुल 18 याचिकाएं दाखिल की गई हैं। इनमें 9 याचिकाएं पक्षकारों की ओर से हैं और बाकी नौ अन्य याचिकाकर्ता है। कल ही पीठ यह तय करेगी कि पुनर्विचार याचिकाओं पर खुली अदालत में सुनवाई की जरूरत है या नहीं। अगर कोर्ट को ऐसी जरूरत महसूस होगी तो पुनर्विचार याचिकाओं पर नोटिस जारी किया जाएगा।
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मुख्य न्यायधीश एसए बोवडे, डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस एस अब्दुल नजीर और जस्टिस संजीव खाना की पीठ चैंबर में पुनर्विचार याचिकाओं पर विचार करेगी। बता दें कि सुनवाई के दौरान न कोई वकील पेश होंगे और न बहस। न्यायाधीश फाइल और रिकॉर्ड को देख कर निर्णय लेते हैं। जो बेंच फैसला सुनाती है वही पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई करती है, लेकिन जस्टिस गोगोई के रिटायर होने के कारण बेंच में नए जज को शामिल किया गया है। उल्लेखनीय है कि पुनर्विचार याचिका पर चैंबर में ही सुनवाई की जाती है और यहीं खारिज भी कर दी जाती है। लेकिन अगर बेंच को लगता है कि सुनवाई कोर्ट में होनी चाहिए तो यह कोर्ट में भेजा जाता है। बता दें कि मामले में मुस्लिम पक्ष की सात, हिंदू महासभा की एक व अन्य 40 लोगों ने पुनर्विचार याचिका दाखिल की है।