महाराष्ट्र में लग गया राष्ट्रपति शासन, शिवसेना पहुंची सुप्रीम कोर्ट
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ब्रिक्स सम्मेलन में शामिल होने ब्राजील जाने से पहले कैबिनेट की आपात बैठक की। कैबिनेट की इस बैठक में महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने पर फैसला लिया गया है। इस फैसले के बाद केंद्रीय कैबिनेट ने प्रदेश में राष्ट्रपति शासन सिफारिश कर दी है।
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ब्रिक्स सम्मेलन में शामिल होने ब्राजील जाने से पहले कैबिनेट की आपात बैठक की। कैबिनेट ने इस बैठक में महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने को मंजूरी दे दी। इस फैसले के बाद कैबिनेट ने महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने की अनुशंसा कर दी है। करीब 20 दिनों से चल रही खींचतान के बाद महाराष्ट्र में अब राष्ट्रपति शासन लग सकता है।
राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी की तरफ से राष्ट्रपति शासन की सिफारिश को केंद्रीय कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की मंजूरी के बाद प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लग जाएगा।
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बता दें कि कैबिनेट मीटिंग के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ब्रिक्स देशों की मीटिंग में हिस्सा लेने के लिए ब्राजील रवाना हो गए हैं। बता दें कि सबसे बड़े दल के तौर पर सरकार बनाने से बीजेपी के इंकार के बाद राज्यपाल ने शिवसेना को सरकार बनाने के लिए एक दिन का समय दिया था।
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रविवार से सोमवार तक शिवसेना के सरकार न बनाने के बाद सोमवार शाम को राज्यपाल ने तीसरे सबसे बड़े दल एनसीपी को मौका दिया था। एनसीपी को मंगलवा रात 8:30 बजे समाप्त हो रहा है, लेकिन एनसीपी ने अभी तक सरकार बनाने को लेकर कोई दावा नहीं किया। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक एनसीपी ने पत्र लिखकर 3 दिन का और समय मांगा था।
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एनसीपी के इस कदम के बाद राज्यपाल ने महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने की सिफारिश कर दी। राजभवन के ओर से जारी प्रेस रिलीज में कहा गया है कि प्रदेश में संविधान के मुताबिक सरकार बनने के आसार नहीं हैं।