बड़ी खबर: लालू यादव की जमानत पर फैसला टला, अब इतने दिन बाद होगी सुनवाई

लालू प्रसाद यादव के खिलाफ कथित ऑडियो टेप मामले में  बरियातू थाना पुलिस ने एफआइआर दर्ज करने से मना कर दिया है। पुलिस की तरफ से कहा गया है कि इस मामले में थाने में केस दर्ज नहीं किया जाएगा।

Update: 2020-12-11 06:01 GMT
लालू प्रसाद को जमानत की सुविधा मिलती तो वह जेल से बाहर निकल जाते। क्योंकि इससे पहले उन्हें तीन मामलों में जमानत मिल चुकी है।

पटना: इस वक्त की बड़ी झारखण्ड से आ रही है। चारा घोटाला मामले में सजा काट रहे लालू प्रसाद यादव की जमानत पर 6 सप्ताह के लिए सुनवाई टल गई है।

लालू यादव के वकील देवर्षि मंडल ने उनकी कस्टडी पर जवाब दाखिल करने के लिए झारखंड कोर्ट से समय मांगा था। जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया है। आज जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत में सुनवाई के बाद ये निर्णय लिया गया है।

बता दें कि लालू यादव के वकील की तरफ से दुमका कोषागार मामले में सजा की अवधि पूरी करने का हवाला देते हुए जमानत की गुहार लगाई गई है।

बड़ी खबर: लालू यादव की जमानत पर फैसला टला, अब इतने दिन बाद होगी सुनवाई (फोटो:सोशल मीडिया)

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लालू यादव को तीन मामलों में पहले ही मिल चुकी है जमानत

अगर लालू प्रसाद को जमानत की सुविधा मिलती तो वह जेल से बाहर निकल जाते। क्योंकि इससे पहले उन्हें तीन मामलों में जमानत मिल चुकी है।

बताते चलें कि लालू प्रसाद यादव को दुमका कोषागार मामले में सीबीआई कोर्ट ने 7 साल की सजा सुनाई है। लालू यादव के वकील की तरफ से दावा किया गया कि उन्होंने 42 माह से ज्यादा दिन जेल में बिताए हैं। वहीं सीबीआई का कहना है कि लालू यादव इस मामले में सिर्फ 34 माह ही जेल में रहे हैं।

इस बीच सीबीआई की तरफ से कोर्ट में एक शपथ पत्र दाखिल किया गया है जिसमें कहा गया है कि लालू प्रसाद यादव की तबीयत ठीक है।

इसलिए उन्हें जेल भेजा जाए। इसके लिए फोन प्रकरण में बिहार में प्राथमिकी दर्ज होने और जेल मैनुअल के उल्लंघन का हवाला दिया गया है।

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आरजेडी नेता लालू प्रसाद यादव (फोटो-सोशल मीडिया)

बरियातू थाना पुलिस ने कथित ऑडियो टेप मामले में केस दर्ज करने से किया मना

उधर लालू प्रसाद यादव के खिलाफ कथित ऑडियो टेप मामले में बरियातू थाना पुलिस ने एफआइआर दर्ज करने से मना कर दिया है। पुलिस की तरफ से कहा गया है कि इस मामले में थाने में केस दर्ज नहीं किया जाएगा।

बता दें कि गत 27 नवंबर को इस मामले में भाजपा के स्थानीय नेता अनुरंजन अशोक की ओर से लिखित शिकायत थाने में दी गई थी। अपनी शिकायत पत्र के साथ भाजपा नेता ने एक पेन ड्राइव भी दिया था। इसमें कथित ऑडियो होने का दावा किया गया था।

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