Uniform Civil Code: समान नागरिक संहिता पर मिले करीब 1 करोड़ सुझाव-प्रतिक्रियाएं, अब क्या होगा लॉ कमीशन का अगला कदम?

Uniform Civil Code: समान नागरिक संहिता को लेकर लॉ कमीशन ने लोगों से सुझाव और प्रतिक्रियाएं मांगी थी। विधि आयोग अब सोमवार को आगे की प्रक्रिया शुरू करेगा। आयोग को एक करोड़ से अधिक सुझाव और प्रतिक्रिया मिली है।

Update:2023-07-29 23:06 IST
Uniform Civil Code (Social media)

Uniform Civil Code: देश में यूनिफॉर्म सिविल कोड यानी यूसीसी (UCC) को लेकर चर्चा तेज है। विधि आयोग लॉ कमीशन (Law Commission) 31 जुलाई से आगे की प्रक्रिया शुरू करेगा। जानकारी के अनुसार, लॉ कमीशन पहले चरण में मिली प्रतिक्रियाओं तथा सुझावों को 3 भागों में बांटना शुरू करेगा। UCC पर विधि आयोग की ओर से मांगे गए सुझाव की आखिरी तारीख 28 जुलाई को ही समाप्त हो गई। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, समान नागरिक संहिता को लेकर लॉ कमीशन को अब तक एक करोड़ से भी ज्यादा प्रतिक्रिया और सुझाव मिले हैं।

लॉ कमीशन ने ये भी साफ कर दिया है कि समान नागरिक संहिता पर जनता के सुझाव देने की समय अवधि को अब आगे नहीं बढ़ाया जाएगा। केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल (Arjun Ram Meghwal) ने 29 जुलाई को कहा कि, UCC को लेकर विधि आयोग को एक करोड़ से ज्यादा सुझाव मिले हैं।

सुझावों को 3 हिस्से में बांटेगा लॉ कमीशन

विधि आयोग (Law Commission on UCC) अब इन सुझावों और प्रतिक्रियाओं को तीन हिस्से में बांटेगा। पहले हिस्से में यह होगा कि कितने लोग इस कानून के पक्ष में हैं। इसे बेहतर बनाने के लिए उनकी क्या राय है। इसके अतिरिक्त, उन लोगों के सुझावों और प्रतिक्रियाओं (Suggestions and Feedback on UCC) को भी अलग किया जाएगा, जिन लोगों ने इस कानून का विरोध किया है। इस संबंध में अपने तथ्य पेश किए हैं।

संवैधानिक अधिकारों पर होगी चर्चा-विमर्श

दूसरे चरण में लॉ कमीशन लोगों और संगठनों से प्राप्त प्रतिक्रियाओं और सुझावों पर संविधान में प्रदत्त अधिकारों (Constitutional Rights) के विशेषज्ञों व सदस्यों के साथ आंतरिक विचार-विमर्श करेगा। इसके साथ-साथ विधि आयोग प्रमुख धार्मिक, राजनीतिक और सामाजिक संगठनों के साथ भी चर्चा-विमर्श करेगा। कानून पर उनकी राय-मशविरा लेने का प्रयास करेगा। बता दें, समान नागरिक संहिता को लेकर लॉ कमीशन को कई संगठन की ओर से लिखित सुझाव भी मिले हैं।

तीसरा चरण हो सकता है लंबा

इसके बाद विधि आयोग यानी लॉ कमीशन तीसरे चरण की शुरुआत करेगा। यह UCC को लेकर विचार-विमर्श का आखिरी चरण होगा। इसके साथ ही लॉ कमीशन कानून को लेकर अपनी रिपोर्ट भी तैयार करेगा। हालांकि, ये काफी लंबी प्रक्रिया है। इसलिए इसमें कई हफ़्तों का समय या महीनेभर भी लग सकता है।

सुझावों को 3 भागों में विभक्त करेगा विधि आयोग :

- कानून बनाने के पक्ष और उसे बेहतर बनाने की प्रतिक्रिया तथा सुझाव
- कानून नहीं बनाए जाने और इस पर आगे विचार नहीं करने संबंधी प्रतिक्रिया तथा सुझाव
- समान नागरिक संहिता को लेकर आए अपवादित प्रतिक्रिया तथा सुझाव।

मुस्लिम संगठन कर रहे विरोध

उल्लेखनीय है कि, यूनिफॉर्म सिविल कोड (Uniform Civil Code) का मुस्लिम संगठनों सहित कई अन्य राजनीतिक दलों ने विरोध किया है। पॉलिटिकल पार्टीज का कहना है कि भारत में अलग-अलग जाति, धर्म और संस्कृति के लोग रहते हैं, ऐसे में सबको एक कानून में समाहित करना ठीक नहीं होगा।

UCC बीजेपी के घोषणा पत्र में

दरअसल, सभी राजनीतिक दल 2024 लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी है। यूसीसी लागू करना बीजेपी के चुनावी घोषणा पत्र (BJP Election Manifesto) का हिस्सा रहा है। बीजेपी ने सुझाव मांगे जाने के वक़्त ही कहा था कि विधि आयोग सभी हितधारकों के इनपुट को महत्व देता है। इसका उद्देश्य एक समावेशी वातावरण तैयार करना है, जो सक्रिय भागीदारी को प्रोत्साहित करता है।

21वें लॉ कमीशन ने भी अध्ययन किया था

यूनिफॉर्म सिविल कोड (UCC) पर इससे पहले 21वें लॉ कमीशन ने भी अध्ययन किया था। आयोग ने तब इस पर और चर्चा की जरूरत बताई गई थी। इस बात को तीन साल से अधिक समय बीत चुका है। अब नए सिरे से सुझाव लिए गए हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने भी UCC की वकालत की थी, जिसके बाद से इस मुद्दे पर देशभर में बहस छिड़ी हुई है।

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