मन की बात में PM मोदी बोले- न्यू इंडिया में VIP नहीं अब EPI कल्चर को बढ़ाना है आगे
पीएम नरेंद्र मोदी रविवार (30 अप्रैल) को मन की बात' के जरिए देश को संबोधित कर रहे हैं। 31वीं बार प्रसारित हो रहे इस प्रोग्राम में पीएम ने लोगों का शुक्रिया अदा किया।
नई दिल्ली: पीएम नरेंद्र मोदी ने रविवार (30 अप्रैल) को 'मन की बात' के जरिए देश को संबोधित किया। 31वीं बार प्रसारित हो रहे इस प्रोग्राम में पीएम ने लोगों का शुक्रिया अदा किया। पीएम मोदी ने कहा कि देश का युवा कंफर्ट जोन से बाहर निकले और गर्मी की छुट्टियों में कुछ न कुछ नया जानने की कोशिश करे। भीम एप के जरिए भी युवा गर्मी की छुट्टी बिता सकते हैं। मोदी ने कहा कि जब भी आप लोग कहीं नई जगह जाएं तो वहां से कुछ सीख कर आएं और वहां की फोटोज #incredibleindia पर शेयर कर मुझ तक भेजें।
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'वीआईपी' नहीं, 'ईपीआई' कल्चर
-पीएम मोदी ने कहा कि देश में वीआईपी कल्चर पैठ बना चुका है।
-लाल बत्ती कल्चर तो खत्म हो चुका है, लेकिन दिमाग में बैठ वीआईपी कल्चर को खत्म करना है।
-अब वीआईपी की जगह ईपीआई का चलन बढ़ाएं।
-पीएम मोदी ने कहा कि ईपीआई का मतलब- एव्री पर्सन इस इम्पाॅर्टेन्ट।
-वीआईपी कल्चर से देश में नफरत का माहौल है।
-सरकार इसे ख़तम करने का प्रयास कर रही है।
-न्यू इंडिया में वीआईपी नहीं अब ईआईपी कल्चर को आगे बढ़ाना है।
-इस साल हम संत रामानुजाचार्य की 1004वीं जन्म जयंती मना रहे हैं।
-कम ही लोग जानते हैं कि उन्होंने समाज से छुआछूत को मिटाने के लिए आंदोलन किया था।
-भारत सरकार एक मई को उनकी याद में एक डाक टिकट जारी करने जा रही है।
-पीएम मोदी ने एक मई को गुजरात और महाराष्ट्र के स्थापना दिवस पर शुभकामनाएं दीं।
-दोनों राज्यों ने देश के विकास में अहम योगदान दिया है।
-इस मौके पर हमें राज्य को और आगे लेकर जाने का संकल्प लेना चाहिए।
-1 मई मजदूर दिवस के रूप में भी मनाया जाता है।
-भारतीय मजदूर संघ के नेता दंतोपंत ठेंगडी ने मजदूरों के लिए अहम काम किया।
-श्रमिकों के लिए बाबा साहेब अम्बेडकर ने अहम योगदान दिया।
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आउट ऑफ दा बॉक्स कुछ करिए दोस्तों
-पीएम मोदी ने कहा कि परीक्षाएं खत्म हो गई हैं। समर वैकेशन शुरू हो गई है।
-कोशिश करें कि इसमें नई जगहों पर जाएं। नए अनुभव और अपनी जिज्ञासा को पूरा करने के लिए काम करना चाहिए।
-किसी वॉलेंट्री ऑर्गनाइजेशन, समर कैंप के साथ जुड़ जाइए। बिना पैसे लिए दूसरों को नई चीजें सिखा सकते हैं।
-टेक्नोलॉजी बढ़ी है, लेकिन आपस में दूरियां न बनें।
-एक कमरे में बैठकर घर के छह लोग आपस में बात न कर पाएं।
-कभी-कभी लगता है कि क्या हमारी युवा पीढ़ी रोबोट तो नहीं बनती जा रही है।
-हम मानवीय गुणों से दूर तो नहीं हो रहे हैं।
-टेक्नोलॉजी से दूर, संगीत सीखें, स्वीमिंग सीखें, ड्रॉइंग सीखें, कार ड्राइविंग सीखें।
-आउट ऑफ बॉक्स कुछ करिए दोस्तों।
-अगर आपको जादू सीखने का मन है तो ताश के पत्तों का जादू सीखें।
-इन सब कामों से विकास की नई चेतना जागेगी।
-पीएम मोदी ने कहा कि क्या कभी आपका मन करता कि बिना रिजर्वेशन में आम यात्रियों के बीच सफर करें और उन लोगों के साथ बात करें।
-शाम को गरीब बच्चों के साथ फुटबॉल खेलें। एक बार आपने ये किया तो बार-बार करने का मन करेगा।
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गर्मियों में पशुओं का रखें ख़ास ख्याल
-पीएम मोदी ने कहा कि क्लाइमेट चेंज हो रहा है।
-हमारे देश में मई-जून की गर्मी अप्रैल में ही आ गई है।
-गर्मी के मौके पर क्या किया जाए। इसके सुझाव कई लोगों ने मुझे भेजे हैं।
-हमें घर की छतों पर पक्षियों के लिए बर्तनों में पानी और दाना रखना चाहिए।
-पशुओं के लिए पानी की व्यवस्था करनी चाहिए।
-गुजरात के जगत भाई ने अपनी एक किताब सेव स्पैरोज भेजी है।
-इसमें गोरैया को बचाने के लिए कई प्रयास उल्लेखित हैं।
-कभी-कभी दूध, अखबार देने वाला और पोस्टमैन हमारे घर आता है तो हम उसे पानी पिलाना भी भूल जाते हैं।
-अपने साथ साथ अपनों का भी ख्याल रखें।
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और क्या कहा पीएम मोदी ने ?
-पीएम मोदी ने कहा कि पिछली बार कुछ लोगों ने फूड वेस्ट को बचाने के लिए सुझाव भेजा था।
-युवा पीढ़ी और कुछ ऑर्गेनाइजेशन ऐसा काम कर रहे हैं। रोटी बैंक समाज के लिए एक प्रेरणा हैं।
-जब से मन की बात प्रोग्राम शुरू हुआ है, तब से लोग हमें सुझाव भेज रहे हैं।
-ये वो लोग हैं जो जीवन में कुछ कर रहे हैं।
-मन की बात से पहले मुझे हर वर्ग से सुझाव मिलते हैं।
-ये मेरे लिए एक सुखद अनुभव है।
-देश के हर कोने में शक्तियों और परेशानियों का अंबार पड़ा है।
-हर बार मन की बात में आए आपके सुझावों और परेशानियों पर काम शुरू किया जाता है।
-कुछ लोग सुझाव इसलिए देते हैं कि जो काम वो कर रहे हैं उसका फायदा दूसरों को मिले।
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