24 घंटे में सुलझा सकते हैं अयोध्या विवाद: योगी आदित्यनाथ

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि राम मंदिर के मुद्दे पर लोगों का सब्र का बांध टूट रहा है। अगर सुप्रीम कोर्ट जल्द ही इस विवाद पर फैसला नहीं सुना सके तो यह मामला हमारे हाथ में सौंप दे। फिर राम मंदिर मामला 24 घंटे में ही सुलझा लिया जाएगा।

Update:2019-01-27 09:08 IST

लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि राम मंदिर के मुद्दे पर लोगों का सब्र का बांध टूट रहा है। अगर सुप्रीम कोर्ट जल्द ही इस विवाद पर फैसला नहीं सुना सके तो यह मामला हमारे हाथ में सौंप दे। फिर राम मंदिर मामला 24 घंटे में ही सुलझा लिया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने यह भी दावा किया कि आगामी लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को 2014 से भी अधिक सीटें मिलेंगी।

योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को एक टीवी चैनल पर एक सवाल के जवाब में कहा कि पहले अदालत को अयोध्या मामले को हमें सौंपने दीजिए। मैं अदालत से भी यही अपील करूंगा कि इस मामले पर जल्द से जल्द फैसला कर दें।

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उल्लेखनीय है कि 30 सितंबर, 2010 को इलाहाबाद हाईकोर्ट की खंडपीठ ने रामजन्म भूमि के बटवारे पर अपना फैसला नहीं सुनाया बल्कि यह स्थापित किया कि बाबरी ढांचे को एक हिंदू मंदिर को तोड़कर बनाया गया था। हाईकोर्ट के आदेश पर भारतीय पुरातत्व विभाग ने विवादित स्थान पर खुदाई करके अपनी रिपोर्ट में प्राचीन राम मंदिर के अवशेष मिलने के सुबूत दिए थे।

योगी ने कहा कि टाइटल विवाद पर अनावश्यक रूप से जोर देकर अयोध्या मामले में देर की जा रही है। हम सुप्रीम कोर्ट से अपील करते हैं कि वह जल्द से जल्द हमें न्याय दे। अदालत के फैसले से करोड़ों लोगों को संतोष मिले ताकि यह स्थान जनता की आस्था का प्रतीक बने। उन्होंने कहा कि इस मामले में अनावश्यक देरी से लोगों का भरोसा इन संस्थाओं से उठ जाएगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि अनावश्यक देरी से लोगों का धैर्य और भरोसा टूट रहा है। मैं कहना चाहता हूं कि अदालत अपना फैसला जल्द दे। और अगर वह ऐसा कर पाने में नाकाम रहे तो वह यह मुद्दा हमें सौंप दे। हम रामजन्म भूमि विवाद को 24 घंटे के अंदर सुलझा देंगे। हम 25 घंटे का वक्त भी नहीं लगाएंगे।

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यह पूछे जाने पर कि केंद्र सरकार इस मुद्दे पर अध्यादेश लेकर क्यों नहीं आई, आदित्यनाथ ने कहा कि मामला कोर्ट में है। संसद उन मामलों पर विचार नहीं कर सकती जो उस समय कोर्ट में विचाराधीन हैं। इसलिए हम इसे अदालत पर ही छोड़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि सवाल चुनाव में हार जीत का नहीं है बल्कि यह मामला देशवासियों की आस्था से जुड़ा हुआ है। आदित्यनाथ ने कहा कि कांग्रेस इस समस्या की जड़ में है। वह नहीं चाहती कि यह मामला सुलझे। अगर अयोध्या विवाद सुलझ जाएगा, तीन तलाक पर रोक लागू हो जाएगी तो देश में तुष्टिकरण की राजनीति हमेशा के लिए खत्म हो जाएगी।

उत्तर प्रदेश में सपा-बसपा गठबंधन पर उन्होंने कहा कि अगर वह जाति आधारित लड़ाई को निचले स्तर पर भी ले जाते हैं तो भी मुकाबला 70-30 का ही होगा। सत्तर फीसद मतदाता भाजपा के ही साथ हैं। जबकि बाकी 30 फीसद वोटों के लिए गठबंधन बना है। उन्होंने प्रियंका गांधी के राजनीति में आने पर कहा कि कांग्रेस ने एक बार फिर साबित कर दिया है कि उनके लिए परिवार ही पार्टी है। वह परिवार के परे देख ही नहीं सकते।

वहीं, राहुल गांधी के मंदिरों के फेरे लगाने पर उन्होंने कहा कि यह हमारी विचारधारा की ही जीत है। राहुल को यह अहसास हो गया है कि उन्हें अगर हिंदुस्तान में रहना है तो जनता को जनेऊ और तिलक दिखाना पड़ेगा। मेरे हिसाब से राहुल ने नेहरू को गलत साबित कर दिया है।

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