Meerut News: 18 साल पहले हुई हत्या के दोषी को आजीवन कारावास
Meerut News: पुलिस के अनुसार किठौर थाना क्षेत्र में करीब 18 साल पहले हुई एक व्यक्ति की हत्या के मामले में दोषी पाए जाने पर न्यायालय ने बुधवार को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।
Meerut News: उत्तर प्रदेश के मेरठ में ऑपरेशन कन्विक्शन' में पुलिस और अभियोजन ने प्रभावी पैरवी कर किठौर के चर्चित हत्याकांड में हत्यारोपी को आजीवन कारावास की सजा दिलाने में सफलता अर्जित की है। पुलिस के अनुसार किठौर थाना क्षेत्र में करीब 18 साल पहले हुई एक व्यक्ति की हत्या के मामले में दोषी पाए जाने पर न्यायालय ने बुधवार को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। यह आदेश न्यायालय एडीजे 14/एनडीपीएस एक्ट मेरठ धीरेन्द्र सिंह की अदालत से हुआ। दोषी संजय पुत्र धनपाल को उम्रकैद के साथ ही दस हजार रुपये के अर्थदंड की भी सजा हुई है।
आजीवन कारावास के साथ 10 हजार का जूर्माना
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रोहित सिंह सजवान ने बताया कि “ऑपरेशन कन्विक्शन” के तहत पैरवी सेल तथा थाना किठौर जनपद मेरठ पुलिस द्वारा की गयी सशक्त व प्रभावी पैरवी के फलस्वरूप अभियुक्त संजय को आजीवन कारावास व 10000 रुपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के अनुसार 17 जून 2006 को वादी की लिखित तहरीर के आधार पर थाना किठौर पर मु0अ0स0 166/2006 धारा 302 भा0द0वि0 बनाम अज्ञात पंजीकृत किया गया था जिसमें अभियुक्त संजय पुत्र धनपाल निवासी ग्राम फतेहपुर नारायण थाना किठौर जनपद मेरठ का नाम विवेचना के दौरान प्रकाश में आया था। जिसमें विवेचक द्वारा विवेचना पूर्ण कर दिनांक 2 अप्रैल 2007 को आरोप पत्र माननीय न्यायालय प्रेषित किया गया।
ऑपरेशन कन्विक्श के तहत हुई सजा
पैरवी सेल मेरठ एवं प्रभारी निरीक्षक किठौर पुलिस की सशक्त व प्रभावी पैरवी से आज माननीय न्यायालय एडीजे 14/एनडीपीएस एक्ट मेरठ धीरेन्द्र सिंह द्वारा अभियुक्त संजय पुत्र धनपाल निवासी ग्राम फतेहपुर नारायण थाना किठौर जनपद मेरठ को जुर्म धारा 302 भादवि के अपराध में आजीवन कारावास व 10000 रुपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। बता दें कि अपराधियों के लिए यूपी सरकार ने एक नया ऑपरेशन शुरू किया है। इसका नाम 'ऑपरेशन कन्विक्शन' है। इसके तहत महज 30 दिनों के अंदर जांच खत्म करके अपराधियों को सजा दिलाने का लक्ष्य रखा गया है। इसमें रेप, हत्या, लूट, डकैती, धर्मांतरण और गोकशी जैसे अपराध शामिल है, जो सूबे के सभी 75 जिलों के लिए हैं।