सोनभद्र के सोने का खुलासा, सामने आई ये चौंकाने वाली सच्चाई

उत्तर प्रदेश का सोनभद्र इन दिनों सोने को लेकर पूरी दुनिया में चर्चा में है। इस बीच भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण (जीएसआई) ने शनिवार को 3000 टन सोना होने की खबर को खारिज कर दिया है।

Update:2020-02-22 21:26 IST

नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश का सोनभद्र इन दिनों सोने को लेकर पूरी दुनिया में चर्चा में है। इस बीच भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण (जीएसआई) ने शनिवार को 3000 टन सोना होने की खबर को खारिज कर दिया है। जीएसआई ने कहा है कि उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले में करीब 3000 टन सोना मिलने की ऐसी कोई सूचना नहीं है।

जीएसआई ने खदान में 3000 हजार टन नहीं, बल्कि सिर्फ 160 किलो सोना होने का दावा किया है। जीएसआई के निदेशक डॉ. जीएस तिवारी ने बताया कि सोनभद्र की खदान में 3000 टन सोना होने की बात जीएसआई नहीं मानता।

उन्होंने कहा कि सोनभद्र में 52806. 25 टन स्वर्ण अयस्क होने की बात कही गई है न कि शुद्ध सोना। सोनभद्र में मिले स्वर्ण अयस्क से प्रति टन सिर्फ 3.03 ग्राम ही सोना निकलेगा। पूरे खदान से 160 किलो सोना ही निकलेगा।

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तिवारी ने कहा कि सोनभद्र में सोने की तलाश अभी की जा रही है। जीएसआई का सर्वे अभी चल रहा है। वहां पर और सोना मिलने की संभावना से अभी इंकार नहीं किया जा सकता। लेकिन अभी जो अयस्क मिला है, उससे 160 किलो ही सोना निकलेगा। उन्होंने बताया कि जीएसआई द्वारा इस जांच की यूएनएफसी मानक की जी-3 स्तर की रिपोर्ट भूतत्व खनिक कर्म निदेशालय को भेजी गई है।

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तिवारी ने बताया कि इस संबंध में सोनभद्र के जिलाधिकारी से भूमि संबंधी रिपोर्ट प्राप्त की जा रही है, उसके बाद क्षेत्र को भू-राजस्व मानचित्र पर अंकित कर खनन के लिए उपयुक्त क्षेत्र की आवश्यक औपचारिकता पूरी करते हुए नीलामी की कार्यवाही की जाएगी।

गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले की सोन और हरदी पहाड़ी में अधिकारियों ने सोना मिलने की पुष्टि की है। इसके अलावा क्षेत्र की पहाड़ियों में एंडालुसाइट, पोटाश, लौह अयस्क आदि खनिज संपदा होने की बात भी चर्चा में है।

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क्षेत्र के आसपास की पहाड़ियों में लगातार 15 दिनों से हेलिकॉप्टर से सर्वे किया जा रहा है। बताया जा रहा है कि हवाई सर्वे के माध्यम से यूरेनियम का भी पता लगाया जा रहा है। इसकी मौजूदगी की भी प्रबल संभावना जताई जा रही है।

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