Chardham Yatra 2023: अक्षय तृतीया पर्व 22 अप्रैल से शुरू हो रही चारधाम यात्रा, बदलाव के साथ इस बार ये होंगी व्यस्थाएं

Chardham Yatra 2023: इस बार केदारनाथ जी के कपाट 25 अप्रैल को और बदरीनाथ के कपाट 27 अप्रैल को खुलेंगे। प्रति दिन और प्रति घंटा दर्शनार्थियों की संख्या निश्चित की जाएगी। इसके अलावा दर्शनार्थियों को स्लाट व्यवस्था के अन्तर्गत दर्शन कराया जाएगा। यात्रा मार्ग में पेयजल, शौचालय, संचार, खाने और ठहरने की व्यवस्था होगी।

Update:2023-04-21 21:57 IST
chardham yatra 2023 (Photo-Social Media)

Chardham Yatra 2023: अक्षय तृतिया के शुभ अवसर पर 22 अप्रैल से गंगोत्री और यमुनोत्री के कपाट खुलने के साथ ही चारधाम यात्रा शुरू हो जाएगा। हालांकि उत्तराखंड में गढ़वाल हिमालय में भारी बर्फबारी और रुक-रुक कर हो रही बारिश की वजह से 27 अप्रैल से पूर्ण रूप से शुरू होने वाले चारधाम यात्रा पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। बद्रीनाथ, केदारनाथ और गंगोत्री सहित चारो धामों में बर्फबारी हुई है। अगर मौसम ऐसा ही रहा तो तैयारियां प्रभावित हो सकती हैं।

इस बार केदारनाथ जी के कपाट 25 अप्रैल को और बदरीनाथ के कपाट 27 अप्रैल को खुलेंगे। प्रति दिन और प्रति घंटा दर्शनार्थियों की संख्या निश्चित की जाएगी। इसके अलावा दर्शनार्थियों को स्लाट व्यवस्था के अन्तर्गत दर्शन कराया जाएगा। यात्रा मार्ग में पेयजल, शौचालय, संचार, खाने और ठहरने की व्यवस्था होगी।

चारधाम यात्रा में प्रमुख व्यवस्था

यमुनोत्री

यमुनोत्री चारधाम यात्रा का पहला पड़ाव है। समुद्रतल से इसकी ऊचाई करीब 10,610 फीट है। यमुनोत्री में प्रति दिन 5500 यात्री और प्रति घंटा 700 यात्री दर्शन कर पाएंगे। 6 किलोमीटर की यात्र में प्रत्येक किलोमीटर मेडिकल टीम तैनात रहेगी। घोड़ा खच्चर की बुकिंग के लिए प्रीपेड व्यवस्था होगी। मार्ग में जाम की समस्या से निपटने के लिए स्याना चट्टी और राना चट्टी के बीच गेट की व्यवस्था की गई है।

गंगोत्री

गंगोत्री दर्शन के लिए जा रहे हैं तो जान लें की इस बार क्या व्वस्था रहेगी। गंगोत्री में प्रतिदिन 9000 व प्रति घंटे 1100 दर्शनार्थी दर्शन कर पाएंगे। ये धाम उत्तरकाशी में समुद्रतल से करीब 10,175 फीट ऊंचाई पर स्थित है। मार्ग पर जाम की समस्या से निपटने के लिए धरासू बैंड व पुराना धरासू के बीच और गंगनानी व डबराणी के बीच गेट की व्यवस्था की जाएगी। मंदिर समिति की ओर से प्रति दिन भंडारे का आयोजन किया जाएगा। दर्शनार्थियों के पंजीकरम की जांच चिन्यालीसौड़, नगुण बैरियर और हीना की जाएगी।

केदारनाथ धाम

केदारनाथ धाम मे प्रतिदिन 15,000 व प्रति घंटे 1200 दर्शनार्थी दर्शन कर पाएंगे। दर्शन के लिए 16 किमी पैदल मार्ग पर 12 मेडिकल टीमों को तैनात किया जाएगा। इसके अलावा अह एंबुलेंस व एयर एंबुलेंस की व्यवस्था होगी। लिनचोली से धाम तक करीब 10 हजार यात्रियों के ठहरने की व्यवस्था की जाएगी। सोनप्रयाग से गौरीकुंड तक शटल की व्यवस्था होगी। इसके अलालां घोड़ा खच्चर की भी व्यवस्था होगी। यात्रियों की सुविधा के लिए अलग-अलग भाषा में साइन बोर्ड लगाए जाएंगे। इस बार दर्शनार्थी केदारनाथ जी के स्वर्ण मंडित गर्भगृह के दर्शन भी कर पाएंगे। गौरतलब है कि कपाट बंद होने के दौरान गर्भगृह में सोने की परत चढ़ा दी गई है।

बदरीनाथ धाम

चमोली जिले में स्थित बदरनाथ धाम समुद्रतल से 10,277 फीट की ऊंचाई पर है। इस बार कार्य प्रगति पर होने के कारण मार्ग में बदलाव रहेगा। तीर्थयात्री बीआरओ तिराहे से जीएमवीएन गेस्ट हाउस होते हुए नए पुल से मंदिर तक पहुंच सकेंगे। जबकि वापसी पुराने पुल से होगी। पांडुकेश्वर में यात्रियों का पंजीकरण चेक किया जाएगा। रोज दोपह में भोग प्रसाद मिलेगा। जाम के निवारण के लिए ट्रैफिक बाईपास से माणा बस अड्डे की डायवर्ट किया जाएगा।

स्वास्थ्य व्यवस्था सुदृढ़ करने के लिए केंद्र से 315 करोड़ की मांग

उत्तराखंड सरकार ने स्वास्थ्य सुविधाओं सुदृढ़ करने के लिए केंद्र सरकार से 315 करोड़ रुपए मांगे हैं। इन पैसों से श्रीनगर मेडिकल कालेज में सिटी व एमआरआई मशीनें लगाई जाएंगी। इसके अलावा चारधाम यात्रा मार्ग के पीएचसी व सीएचसी सुदृढ़ करने का प्रस्ताव है।

ये यात्रा तोड़ेगी सभी रिकॉर्ड-सीएम पुष्कर सिंह धामी

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री ने कहा इस बार चारधाम यात्रा पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ नए कीर्तिमान स्थापित करेगी। उन्होंने यात्रा कि शुरुआत करते हुए चालकों, परिचालकों और श्रद्धालुओं को राहत किट का वितरम किया।

Tags:    

Similar News