पीएम मोदी का दूत बनाकर मॉस्को जाएंगे NSA अजीत डोभाल,रूस-यूक्रेन युद्ध रोकने के लिए बड़ी पहल की तैयारी

Russia Ukraine War : जुलाई महीने में रूस की यात्रा के बाद उन्होंने हाल में यूक्रेन का भी दौरा किया था। इस दौरान उन्होंने यह बात दोहराई थी कि भारत दोनों देशों के बीच चल रही जंग को रोकने के लिए अपने स्तर पर हर पहल करने के लिए तैयार है।

Report :  Anshuman Tiwari
Update:2024-09-08 12:20 IST

NSA Ajit Doval ( Pic- Social- Media)

Russia Ukraine War : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रूस और यूक्रेन के बीच पिछले काफी दिनों से चल रहे युद्ध को रोकने पर जोर देते रहे हैं। जुलाई महीने में रूस की यात्रा के बाद उन्होंने हाल में यूक्रेन का भी दौरा किया था। इस दौरान उन्होंने यह बात दोहराई थी कि भारत दोनों देशों के बीच चल रही जंग को रोकने के लिए अपने स्तर पर हर पहल करने के लिए तैयार है।


यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की का भी मानना है कि प्रधानमंत्री मोदी दोनों देशों की बीच जंग को रोकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। अब भारत दोनों देशों के बीच जंग को रोकने के लिए महत्वपूर्ण पहल करने जा रहा है। इसके तहत राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल जल्द ही मॉस्को के दौरे पर जाने वाले हैं।

रूस के साथ जंग रोकने पर चर्चा करेंगे डोभाल

सीएनएन की एक रिपोर्ट के मुताबिक अपनी रूस यात्रा के दौरान राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार डोभाल रूस के नेताओं के साथ जंग रोकने के मुद्दे पर महत्वपूर्ण चर्चा करेंगे। इस दौरान वे रूस को प्रधानमंत्री मोदी का महत्वपूर्ण संदेश भी देंगे। जुलाई महीने में रूस की यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन के साथ इस मुद्दे पर चर्चा की थी। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि यह युद्ध करने का समय नहीं है। उन्होंने दोनों देशों के बीच पैदा हुए तनाव का शांतिपूर्ण समाधान खोजने पर जोर दिया था।


यूक्रेन ने दिया था भारत की पहल पर जोर

हाल में अपने यूक्रेन दौरे के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की से मुलाकात की थी और शांति के प्रति भारत की प्रतिबद्धता दोहराई थी। उन्होंने यह भी कहा था कि दोनों देशों के बीच जंग रोकने के लिए भारत अपनी ओर से महत्वपूर्ण पहल करने के लिए तैयार है।जेलेंस्की ने भी कहा था कि पीएम मोदी इन दोनों देशों के बीच जंग रोकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। माना जा रहा है कि अब इसी कड़ी में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल को मॉस्को भेजा जा रहा है।


पुतिन भी शांति के लिए प्रयासों के खिलाफ नहीं

प्रधानमंत्री मोदी ने अभी पिछले महीने के आखिरी हफ्ते में रूस के राष्ट्रपति पुतिन के साथ टेलीफोन पर भी बातचीत की थी। दोनों नेताओं के बीच इस बातचीत के दौरान रूस-यूक्रेन के बीच चल रही जंग पर भी चर्चा हुई थी। जानकारी सूत्रों का कहना है कि इस चर्चा के दौरान ही युद्ध से जुड़े मुद्दों पर चर्चा के लिए डोभाल को मॉस्को भेजने का फैसला किया गया था। रूस और यूक्रेन की यात्राओं के बाद शांति के लिए किए जा रहे प्रयासों के संबंध में पीएम मोदी ने अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन के साथ भी टेलीफोन पर चर्चा की थी।


राष्ट्रपति पुतिन का कहना है कि वे दोनों देशों के बीच शांति के लिए किए जा रहे प्रयासों के खिलाफ नहीं है। उनका यह भी मानना है कि भारत, चीन और ब्राजील जैसे देश शांति प्रयासों में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। वैसे डोभाल के मॉस्को दौरे के संबंध में अभी भारत सरकार की ओर से कोई आधिकारिक जानकारी नहीं दी गई है।

मेलोनी ने भी भारत की भूमिका को महत्वपूर्ण बताया

इस बीच इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलीनी ने भी कहा है कि रूस और यूक्रेन की जंग रोकने में भारत महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। मेलोनी ने शनिवार को एक कार्यक्रम में अपने संबोधन के दौरान कहा कि यदि अंतरराष्ट्रीय कानूनों का उल्लंघन किया गया तो संघर्ष और तनाव और बढ़ेगा जिसका वैश्विक अर्थव्यवस्था पर काफी प्रतिकूल असर पड़ेगा।उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय नियमों और कानून का उल्लंघन और इकोनॉमिक ग्लोबलाइजेशन दोनों एक साथ नहीं चल सकते। मेलोनी के कार्यकाल में भारत और इटली के रिश्तों में काफी मजबूती आई है।


उन्होंने कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच चल रही जंग को खत्म करने में भारत और चीन महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। उन्होंने कहा कि इस जंग को खत्म करने की दिशा में ठोस पहल किए जाने की जरूरत है।मेलोनी ने कहा कि इटली के लिए यूक्रेन का समर्थन करने का विकल्प सबसे पहले और महत्वपूर्ण है। इस संबंध में हमारी नीति बदलने वाली नहीं है। उन्होंने भारत की ओर से दोनों देशों की जंग खत्म करने की दिशा में महत्वपूर्ण पहल किए जाने पर जोर दिया। 

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