World Press Freedom Index: वर्ल्ड प्रेस फ्रीडम index में भारत 11 स्थान नीचे खिसका
World Press Freedom Index: 3 मई को विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस मनाया गया, इसी दिन देर रात वर्ल्ड प्रेस फ्रीडम इंडेक्स भी जारी किया गया।
World Press Freedom Index: बुधवार 3 मई को विश्व 30 वां पत्रकारिता स्वतंत्रता दिवस मना रहा था। इसी दिन के उपलक्ष्य में वर्ल्ड फ्रीडम इंडेक्स भी जारी किया गया। इसमें भारत का स्थान 2022 में 150 वें स्थान से और नीचे खिसककर 161वें स्थान पर आ चुका है। पूरे 180 देश इस इंडेक्स में शामिल किए गए हैं। इनमे अंतिम 31 स्थानों पर मौजूद देशों में पत्रकारिता की स्थिति को गंभीर रूप से सोचनीय बताई जा रही है। दुर्भाग्यवश इस 31 देशों में भारत का भी नाम मौजूद है।
ग्लोबल मीडिया वॉचडॉग रिपोर्टर्स विदाउट बॉर्डर्स (RSF-The Resilience and Sustainability Facility), द्वारा जारी इस रिपोर्ट में चेतावनी दी गई कि फेक न्यूज का खतरा तेजी से बढ़ रहा है। सरकारी दबाव से स्थिति और भी चिंतनीय हो गई है। यूनाइटेड नेशन की रिपोर्ट्स के अनुसार, दुनिया के 85% लोग उन देशों में रहते हैं जहां प्रेस फ्रीडम में गिरावट आई है।
प्रेस फ्रीडम में टॉप पांच देश
नॉर्वे
आयरलैंड
डेनमार्क
स्वीडन
फिनलैंड
जारी किए गए प्रेस फ्रीडम इंडेक्स में नॉर्वे को प्ले स्थान पर रखा गया है। वहीं आयरलैंड को दूसरे स्थान पर, डेनमार्क को तीसरे स्थान पर, स्वीडन को चौथे स्थान पर और फिनलैंड को 5 वें स्थान पर रखा गया है। वहीं पाकिस्तान की स्थिति में सुधार देखने को मिला है। उत्तर कोरिया और चीन की स्थिति सबसे खराब बताई जा रही है। मीडिया की स्वतंत्रता के मामले में दुनिया में सबसे खराब स्थिति तानाशाह किम जोंग उन के देश उ. कोरिया की है। वह 180वें स्थान पर है। ठीक वैसी ही स्थिति चीन की है। उसकी 179वीं रैंक है। लेकिन, पाकिस्तान में पत्रकारिता की स्थिति में सुधार देखा गया है। 2021 में पाकिस्तान 159वें स्थान पर था, अब 150वें स्थान पर है।
भारत के मीडिया संगठनों ने प्रकाशित विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक, ((((2023 में भारत के 11 पायदान गिरकर 161वें स्थान)))) पर आने पर चिंता व्यक्त की है।
वॉचडॉग रिपोर्टर्स विदाउट बॉर्डर्स (RSF), जो दुनिया भर के देशों में प्रेस की स्वतंत्रता पर एक वार्षिक रिपोर्ट प्रकाशित करता है, ने पिछले साल 180 देशों के एक सर्वेक्षण में भारत को 150वां स्थान दिया था।