UK में कोरोना की वैक्सीन लगवाने वालों की हो रही है ज्यादा मौतें, रिपोर्ट में हुआ खुलासा

UK में वैक्सीन ना लगवाने वालों की तुलना में वैक्सीन लगवाने वालों की कोरोना से ज्यादा मौतें - क्या कहना है एक्सपर्ट्स का आइए जानते है।

Report :  Ranjana Kahar
Published By :  Satyabha
Update: 2021-07-19 10:00 GMT

वैक्सीन लगवाने के बाद भी रहें सतर्क फोटो- सोशल मीडिया

कोरोना महामारी (Corona Pandemic) अभी भी लोगों की जान का खतरा बना हुआ है। कोरोना से बचने का एकमात्र जरिया वैक्सीन लगवाना ही है। दुनिया भर के एक्सपर्ट्स लोगों को वैक्सीन लगवाने के लिए जागरूक कर रहे हैं, ताकि इस महामारी बचा जा सके। आपको बता दें कि इसी बीच पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड (PHE) की वैक्सीनेशन पर एक नई रिपोर्ट को लेकर लोग चिंता जाहिर कर रहे हैं।

PHE की एक रिपोर्ट के मुताबिक, UK में वैक्सीन ना लगवाने वालों की तुलना में वैक्सीन लगवाने वालों की कोरोना से ज्यादा मौतें हो रही है। रिपोर्ट के अनुसार 1 फरवरी से 21 जून के बीच कोविड के डेल्टा वेरिएंट से संक्रमित हुए 257 लोगों की मौतें हुईं। 257 में से 163 लोगों (63.4%) को  वैक्सीन की दोनों तो कुछ को एक डोज लगाई गई थी। हालांकि, ये रिपोर्ट चौंकाने वाली लग सकती है। लेकिन एक्सपर्ट्स का कहना है कि यह बिल्कुल वैसा ही है जैसी कि उम्मीद की जा रही थी। एक्सपर्ट्स का कहना है कि हर किसी को वैक्सीन की दोनों डोज लग चुकी है, लेकिन फिर भी ज्यादातर लोगों की मौत हो जा रही हैं। वैक्सीन लगवाने के बाद भी कोरोना से संक्रमित होने के बाद कुछ लोगों की मौत हो सकती है।

एक्सपर्ट का कहना है कि लोगों की मौत के बाद ये कहना गलत होगा कि वैक्सीन प्रभावी नहीं है। क्योंकि इसका ज्यादा असर उम्रदराज होने पर मरीज का कोरोना से मरने का खतरा दोगुना हो जाता है। जैसे कि वैक्सीन ना लगवाने वाले 35 साल के एक व्यक्ति की तुलना में 70 साल के व्यक्ति की कोरोना से मरने की संभावना 32 गुना ज्यादा है।

आंकड़ों के अनुसार,  वैक्सीन लगवाने के बाद भी युवाओं की तुलना में बुजुर्गों में कोरोना से मौत का खतरा बना रहता है। PHE डाटा के अनुसार,कोरोना की दोनों वैक्सीन लेने के बाद डेल्टा वेरिएंट से संक्रमित होने के बाद अस्पताल में भर्ती होने का खतरा 96% तक कम हो जाता है।

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