Manipur Violence Update: मणिपुर हिंसा पर सरकार सख्त, दंगाईयों को देखते ही गोली मारने के आदेश, 8 जिलों में कर्फ्यू
Manipur Violence Update: मणिपुर में हिंसा के बीच सेना ने फ्लैग मार्च किया। 8 जिलों में हालात काफी ख़राब हैं। पूरे राज्य में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई है। हिंसाग्रस्त जिलों में कर्फ्यू लगाया गया है।
Manipur Violence: मणिपुर में हिंसक झड़प के बीच सरकार ने दंगाईयों को देखते ही गोली मारने के आदेश जारी किए हैं। सरकार की ओर से जारी आदेश में साफ लिखा है कि प्रशासन विषम परिस्थितियों में ही ऐसा कदम उठाए। मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह (Manipur CM N Biren Singh) ने वीडियो जारी कर लोगों से अपील की है। उन्होंने राज्य की जनता से शांति के लिए सरकार का सहयोग करने को कहा है।
गौरतलब है कि, मणिपुर में दो समुदायों के बीच गलतफहमी के कारण बुधवार को हिंसा शुरू हो गई थी। जिसके बाद पूर्वोत्तर का ये राज्य हिंसा की आग में झुलस गया। सीएम बिरेन सिंह ने आगे कहा कि, जो भी तोड़फोड़ या हिंसा करेंगे उसके खिलाफ हम सख्त एक्शन लेंगे।
My humble appeal to everyone in the State to cooperate with the Government in maintaining peace & harmony at this hour. pic.twitter.com/qViqbuflWr
— N.Biren Singh (@NBirenSingh) May 4, 2023
आदिवासियों और मेइती समुदाय में झड़प
पूर्वोत्तर राज्य मणिपुर में आदिवासियों और बहुसंख्यक मेइती समुदाय (Meitei people) के बीच कई दिनों से तनाव की स्थिति बनी हुई थी। 3 मई की रात इस तनाव ने हिंसा का रूप ले लिया। जिसके बाद स्थिति नियंत्रित करने के लिए रातों रात सेना और असम राइफल्स (Assam Rifles) के कई दलों को फौरन तैनात किया गया। हिंसा की वजह से 9 हजार से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है।
इन जिलों में लगा कर्फ्यू, इंटरनेट सेवा बंद
मणिपुर में सेवारत एक अधिकारी ने बताया कि, स्थिति के मद्देनजर गैर-आदिवासी बहुल इम्फाल पश्चिम (Imphal West), काकचिंग (Kakching), थौबल (Thoubal), जिरिबाम (Jiribam) और विष्णुपुर (Bishnupur) जिलों तथा आदिवासी बहुल चुराचांदपुर, कांगपोकपी और तेंगनौपाल जिलों में कर्फ्यू लगा दिया गया है। अधिकारी ने बताया कि, पूरे राज्य में मोबाइल इंटरनेट सेवाएं आगामी 5 दिनों के लिए निलंबित कर दी गई हैं।
जानें क्यों भड़की हिंसा?
दरअसल, गैर-आदिवासी मेइती समुदाय को अनुसूचित जनजाति (एसटी) के दर्जे की मांग के खिलाफ 'ऑल ट्राइबल स्टूडेंट यूनियन मणिपुर' ने आदिवासी एकजुटता मार्च निकाला था। इसी दौरान हिंसा भड़क गई। ज्ञात हो कि, हाल ही में मणिपुर हाई कोर्ट (Manipur High Court) ने राज्य सरकार को मेइती समुदाय को एसटी दर्जे की मांग पर 4 हफ्ते के भीतर केंद्र को एक सिफारिश भेजने के लिए कहा था। इसी मुद्दे को लेकर मार्च का आयोजन किया गया था।