दिल्ली: आतंकवाद आज पूरे विश्व के लिए चिंता का विषय बन गया है। यह एक गंभीर मुद्दा है जिससे हर कोई निजात चाहता है। आतंक का दंश झेल रहे देश इससे निपटने के लिए लगातार कोशिशे कर रहे हैं। फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद ने आतंकवाद के मसले पर भारत के रुख का समर्थन किया है। उन्होंने आतंकवाद से लड़ने के लिए एकजुट होने की सलाह दी। चंडीगढ़ में एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा कि दोनों देश मिलकर दुनिया में सुरक्षा की भावना लाना चाहते हैं।
ओलांद गणतंत्र दिवस की परेड में मुख्य अतिथि के रूप में भारत आए हैं। अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा ने भी आतंकवाद पर पाकिस्तान को कड़ी नसीहत दी है। उन्होंने कहा है कि पाक को अपनी धरती से आतंक को पूरी तरह से नष्ट करना चाहिए। ओबामा ने कहा कि पाक के पास दिखाने का मौका है कि वह आतंकी नेटवर्कों को तबाह करने को लेकर गंभीर हैं ओबामा ने पठानकोट में आतंकी हमले को भारत की ओर से लंबे समय से झेले जा रहे अक्षम्य आतंकवाद की एक और मिसाल करार दिया।
* मोदी ने कहा कि संकट की घड़ी में फ्रांस की दृढ़ता से भारत को सीखने की जरूरत।
* सैन्य उपकरण हों या राफेल, या फिर साइबर सुरक्षा, ओलांद ने भारत का हर तरह से साथ देने का वादा किया है।
* फ्रांस हमले के बाद से ही मोदी ने फ्रांसीसी राष्ट्रपति को बुलाने का निर्णय लिया था।
* ओबामा ने नवाज सरीफ से संपर्क साधने के लिए मोदी की सराहना की है।
* एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि दोनों नेता इस दिशा में बातचीत को बढ़ा रहे हैं कि आतंकवाद से कैसे निपटना है।