Haryana: पूर्व सीएम ओमप्रकाश चौटाला को बड़ा झटका, आय से अधिक संपत्ति के मामले में पाए गए दोषी
Om Prakash Chautala: पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला को जनवरी, 2013 में जीबीटी घोटाले में दोषी पाया गया था। 86 वर्षीय चौटाला को प्रीवेंशन ऑफ करप्शन में सात साल और षड्यंत्र में दोषी पाए जाने पर 10 साल की सज़ा हुई थी।
Haryana: हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला की मुश्किलें कम होती नजर नहीं आ रही है। दल साल तक जेल में रहने के बाद पिछले साल रिहा हुए चौटाला एकबार फंसते दिख रहे हैं। उन्हें आय से अधिक संपत्ति के मामले में अदालत ने दोषी करार दिया है। सजा की अवधि को लेकर 26 मई को राउज एवेन्यू कोर्ट में बहस होगी। अदालत ने दो दिन पहले इस मामले में दोनों पक्षों की बहस पूरी होने के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया था। शनिवार को हुई सुनवाई में ओमप्रकाश चौटाला भी अदालत में मौजूद रहे। कोर्ट का फैसला आने के बाद उनके समर्थकों में मायूसी छा गई।
क्या है मामला
26 मार्च 2010 को सीबीआई ने पूर्व सीएम ओमप्रकाश चौटाला के खिलाफ अदालत में चार्जशीट दाखिल की थी। इसमें बताया गया था कि 1996 से 2006 के बीच उन्होंने अपनी वैध आय से काफी अधिक 6.09 करोड़ रुपए की संपत्ति जुटाई है। यह उनकी वास्तिविक आय से काफी अधिक है। साल 2019 में ईडी ने भी उनके खिलाफ बड़ा एक्शन लेते हुए पूर्व सीएम की तीन करोड़ से अधिक की संपत्ति को जब्त कर लिया था। इन संपत्तियों में फ्लैट, प्लॉट और जमीन शामिल थे। ईडी ने यह कार्रवाई आय से अधिक संपत्ति के एक मामले में मनी लॉन्ड्रिंग के तहत दर्ज FIR को लेकर की थी। हालांकि चौटाला परिवार इन सभी आरोपों को नकाराता रहा है और इसे राजनीति से प्रेरित बताया है।
जेबीटी भर्ती घोटाले में काट चुके हैं सजा
पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला को जनवरी, 2013 में जीबीटी घोटाले में दोषी पाया गया था। 86 वर्षीय चौटाला को प्रीवेंशन ऑफ करप्शन में सात साल और षड्यंत्र में दोषी पाए जाने पर 10 साल की सज़ा हुई थी। इनेलो सुप्रीमो बीते साल यानि 2 जुलाई 2021 को ही अपनी सजा पूरी कर दिल्ली की तिहाड़ जेल से बाहर आए थे। ऐसे में कोर्ट के ताजा आदेश ने उम्र के इस पड़ाव में उन्हें बड़ा झटका दिया है।
इनेलो को फिर से खड़ा करना चाहते थे चौटाला
लंबी उम्र के बावजूद 10 साल के बाद जेल से बाहर आए ओमप्रकाश चौटाला हरियाणा की सियासत में एकबार फिर सक्रिय दिखे। उनकी गैरमौजूदगी में कभी राज्य की नंबर वन पार्टी रही इंडियन नेशनल लोक दल (इनेलो) के अस्तित्व पर अब संकट खड़ा हो गया है। विधानसभा में केवल पार्टी का एक विधायक है। पार्टी के अलावा चौटाला परिवार भी टूट चुका है।
उनके पोते दुष्यंत चौटाला ने इनेलो से बगावत कर जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) बना ली और वो चुनाव में काफी सफल भी रहे। दुष्यंत आज हरियाणा में बीजेपी के साथ सरकार चला रहे हैं और सूबे के डिप्टी सीएम हैं। जेबीटी घोटाले में सजा पूरी होने के बाद से पूर्व सीएम चौटाला लोगों के बीच में थे। वे अपनी पार्टी इनेलो को मजबूत करने में लगे थे। लेकिन कोर्ट के फैसले के बाद एकबार फिर राज्य में इनेलो का सियासी भविष्य अधर में लटकता नजर आ रहा है।