जरूरतमंदों के लिए बजट भरपूर, जानिए किस सुविधा के लिए कितना मिला पैसा

लोगों को कोरोना महामारी से बचाने के लिए शासन से बजट आ गया है। जरूरतमंदों की मदद के लिए आलाधिकारियों के आदेश आ रहे हैं, लेकिन....

Update: 2020-04-04 18:11 GMT

- बाहर से लौटे व्यक्तियों को ठहराया गया है सरकारी भवनों में, नहीं हो रहा आदेश का पालन

- अपर मुख्य सचिव ने भेजा है आश्रय स्थल पर भोजन, पानी व साबुन के इंतजाम करने का है पत्र

कन्नौज: लोगों को कोरोना महामारी से बचाने के लिए शासन से बजट आ गया है। जरूरतमंदों की मदद के लिए आलाधिकारियों के आदेश आ रहे हैं, लेकिन जमीन पर लापरवाही बरती जा रही है। सुविधाएं हकीकत से कोसों दूर हैं। सरकारी भवनों/अस्थाई आश्रम स्थल में ठहरे हुए बाहर के लोगों को दैनिक जरूरत वाली सभी सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं।

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बीते 27 मार्च को अपर मुख्य सचिव राजस्व व बेसिक शिक्षा रेणुका कुमार ने पत्र जारी कर कहा था, कि देश व्यापी लॉकडाउन होने की वजह से काफी संख्या में मजदूर व अन्य काम करने वाले लोग बाहर से अपने घर को आ रहे हैं। इसके लिए लंबी-लंबी दूरी तय कर यह लोग घर पहुंच रहे हैं। कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए जहां का तहां ही रोक दिया जाए। इसके लिए स्कूल, कॉलेज, होटल, हॉस्टल व धर्मशाला में अस्थाई स्क्रीनिंग कैंप या आश्रय स्थल बना दिया जाए। अपर मुख्य सचिव ने कहा कि हर व्यक्ति के लिए कैंपस में भोजन, पानी, स्वच्छ शौचालय व साबुन आदि की व्यवस्था की जाए। सफाई भी बेहतर रखी जाए। रुकने वाले स्थान पर भीड़ न एकत्र हो। सोशल डिस्टेंसिंग का भी पालन किया जाए।

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आश्रय स्थल के लिए अलग से बजट

आश्रय स्थल चलाने के लिए अलग से धनराशि दी जा रही है। अगर कोई व्यक्ति स्थल पर आने में असमर्थ है तो उसे फ्री भोजन आदि की व्यवस्था की जाए। उधर, इस आदेश का पालन पूरी तरह से नहीं हो रहा है। कहीं भोजन घरों से आ रहा है तो कहीं लोग भाग रहे हैं। कहीं तो अन्य जरूरी सुविधाएं भी मयस्सर नहीं हैं। कभी-कभी सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी नहीं होता है।

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क्वारंटीन केंद्रों के लिए दो करोड़

क्वारंटीन यानि अस्थाई आश्रय स्थलों, रसोईघर व अन्य स्थानों पर जरूरतमंदों को भोजन सामग्री, भोजन व फूड पैकेट बांटने के लिए वर्ष 2020-21 में दो करोड़ रुपए कन्नौज को मिल गए थे। राज्य आपदा मोचक निधि से यह धनराशि स्वीकृत की गई है। अपर मुख्य सचिव रेणुका कुमार ने कहा है कि इससे पहले 27 मार्च को सूबे के लिए आश्रय स्थल व स्क्रीनिंग के लिए 13.50 करोड़ की पहली किस्त दी गई थी। अन्य मदों में भी जिले को बजट मिलने को कहा जा रहा है।

रिपोर्ट- अजय मिश्रा

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