शाहजहांपुर: एक्सीडेंट में दिव्यांग बुजुर्ग की मौत, पुलिस ने किया लाठीचार्ज

एसपी सिटी दिनेश त्रिपाठी ने बताया कि एक्सीडेंट के बाद आक्रोशित लोगों ने जाम लगा दिया था। हल्का बल प्रयोग करके जाम खुलवा दिया गया है। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। जाम लगाने वालों को चिन्हित करके उनके उपर भी कार्यवाई की जाएगी।

Update: 2019-03-28 05:50 GMT

शाहजहांपुर: यूपी के शाहजहांपुर में डंपर ने दिव्यांग बुजुर्ग को कुचल दिया। जिसके बाद मौके पर भारी भीड़ इकट्ठा हो गई। परिजनों ने रोड पर शव रखकर जाम लगा दिया।

परिजन बीस लाख रुपये मुआवजे की मांग कर रहे थे। इस बीच पुलिस और आक्रोशित लोगों मे हाथापाई तक हो गई। पांच घंटे बाद जब पुलिस का सब्र का बांध टूट गया उसके बाद जमकर पुलिस ने लाठियां भांजी। तो दूसरी तरफ से आक्रोशित लोगों ने जमकर पथराव किया। इतना ही नही पुलिस ने अंधाधुंध पथराव कर शव को अपने कब्जे मे लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस का कहना है कि हल्का बल प्रयोग करके जाम को खुलवा दिया गया है।

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ये है पूरा मामला

घटना थाना चौक कोतवाली के अजीजगंज चुंगी के पास की है। यहां बुधवार की रात करीब आठ बजे 60 वर्षीय दिव्यांग सुधीर गुप्ता को तेज रफ्तार डंपर ने कुचल दिया। हादसे के बाद स्थानीय लोगो ने डंपर चालक को पकड़कर जमकर पीटा। पुलिसकर्मियों ने चालक को बचाने की कोशिश की तो आक्रोशित लोगो ने पुलिसकर्मियों से भी हाथापाई की। उसके बाद घायल चालक को जिला अस्पताल मे भर्ती कराया गया।

इधर आक्रोशित लोगो ने रोड पर शव रखकर जाम लगा दिया। हालांकि मौके पर पहुचे सीओ, सिटी मजिस्ट्रेट और एसडीएम ने जाम खुलवाने की काफी कोशिश की लेकिन परिजन मानने को राजी नही थे। देखते ही देखते इलाके के लोगो की काफी भीड़ इकट्ठा हो गई। इधर कई थानों की पुलिस और पीएसी को भी मौके पर बुला लिया गया। पांच घंटे तक पुलिस आक्रोशित लोगो से जूझती रही। इसके बाद पुलिस का सब्र का बांध टूट गया और तब पुलिस ने रणनीति बनाई और पुलिस बल को तैयार रहने के लिए कहा। पुलिस ने आक्रोशित लोगों पर लाठियाँ चलाना शुरू की। तब पुलिस ने शव को एंबुलेंस मे रखा और पुलिसकर्मी एंबुलेंस चलाकर ले गया। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

परिजनों की मांग

मृतक के परिजनों की मांग है कि प्रशासन बीस लाख रुपये का मुआवजा दें। डीएम खुद मौके पर आयें और इलाके में हो रहे अवैध खनन को बंद करवायें। इसके साथ ही परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दें। इलाके मे जमकर अवैध मिट्टी खनन होता है। जिसकी वजह से रोड पर भारी वाहनों का आना लगा रहता है। उन वाहनों का इस रोड आना बंद कराएं। रेत खनन कर रहे माफियाओं पर एफआईआर दर्ज की जाए।

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घटना के वक्त मौके पर भारी भीड़ इकट्ठा हो गए थी। जिसमे कुछ शराब के नशे मे थे। साथ ही मौके पर बीजेपी नेता अनिल बांण भी पहुच गए थे। स्थानीय लोगों ने सीधे तौर पर बीजेपी नेताओं पर अवैध खनन का आरोप लगाया। लेकिन नेताओं ने लाश पर राजनीति करना शुरू कर दी। हालांकि पुलिस को ऐसे नेताओं का सहारा काफी अच्छा लग रहा था। यही कारण था कि पुलिस सीधे पीङित परिजनों से बात करने के बजाए नेताओं के जरिए बात कर रही थी। बीजेपी नेता अनिल बांण ने बीजेपी नेताओं पर अवैध खनन करने के आरोप को नकार दिया और कहा कि अगर बीजेपी नेता शामिल है तो उनके उपर भी कार्यवाई की जाएगी।

पुलिस ने जैसे ही लाठीचार्ज किया। तभी पुलिस ने बलपूर्वक शव को अपने कब्जे मे लेकर एंबुलेंस मे रखवा दिया। लेकिन एंबुलेंस का ड्राईवर गायब हो गया। उधर पथराव भी जमकर हो रहा था। तब वक्त आया जब धक्का लगाकर काफी दूर तक एंबुलेंस को पुलिस को ले जाना पड़ा। ड्राईवर के न मिलने पर पुलिसकर्मी ही एंबुलेंस चलाकर ले गया।

क्या कहते हैं अधिकारी

एसपी सिटी दिनेश त्रिपाठी ने बताया कि एक्सीडेंट के बाद आक्रोशित लोगों ने जाम लगा दिया था। हल्का बल प्रयोग करके जाम खुलवा दिया गया है। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। जाम लगाने वालों को चिन्हित करके उनके उपर भी कार्यवाई की जाएगी।

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बता दें करीब एक साल पहले अजीजगंज इलाके मे ही गर्रा नदी के पास रेत खनन कर रहे खनन माफियाओं मे विवाद हो गया था। उसके बाद मौके पर जमकर फायरिंग की गई थी। जमकर विवाद होने के बाद खनन का कार्य बंद करा दिया गया था। लेकिन रसूखदार और सफेदपोश के संरक्षण मे कुछ दिन बाद ही खनन माफियाओं ने खनन शुरू कर दिया था।

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