Moradabad: हाइवे के लिए भूमि अधिग्रहण का किसानों ने किया विरोध, बोले- नए सर्किल रेट के आधार पर मुआवजा मिले
Moradabad News: कर्मचारी किसानों की बात का संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए। किसानों का भारी विरोध झेलकर कर्मचारी वापस लौट गए।
Moradabad News: यूपी के मुरादाबाद में हाइवे चौड़ीकरण के लिए किए जा रहे भूमि अधिग्रहण का मंगलवार (30 जनवरी) को किसानों ने विरोध किया। दरअसल, ये किसान जमीन का मुआवजा न मिलने से नाराज थे। इसी के विरोध में प्रदर्शन किया और नाराजगी जाहिर की।
मुरादाबाद थाना डिलारी क्षेत्र के गांव जटपुरा, असदुल्लापुर, जलालपुर, फरीदपुर हाजी समेत कई गांवों के लोगों ने आज सड़क पर उतरकर विरोध-प्रदर्शन किया। उनकी नाराजगी भूमि धिग्रहण के बदले मुआवजा नहीं मिलने को लेकर था।
क्या है मामला?
आपको बता दें, मुरादाबाद में ठाकुरद्वारा-काशीपुर हाईवे का निर्माण होना है। सड़क चौड़ीकरण के लिए किसानों की भूमि का अधिग्रहण किया जाना है। किसानों ने बताया कि साल 2022 में किसानों की जमीन चिन्हित की गई थी। लेकिन, अभी तक कोई मुआवजा नहीं मिला। आज NHI 734 के कर्मचारी ट्रैक्टर और बुलडोजर लेकर किसानों की जमीन पर पहुंचे। खड़ी फसल की जुताई की गई। इसकी सूचना मिलते ही सैकड़ों की संख्या में किसान इकट्ठा हो गए। उन्होंने काम शुरू कर रहे लोगों का विरोध किया। टीम को अपनी जमीन से दूर रहने को कहा।
...तो काम नहीं करने देंगे
स्थानीय किसानों ने बताया कि, इसका हमें अभी तक कोई मुआवजा नहीं मिला है। हमारी खड़ी फसल बर्बाद की जा रही है। अगर, हाईवे का निर्माण करना ही था, तो हमें पहले सूचित करना उनका काम था। ताकि हम गेहूं की फसल की बुवाई में पैसा खर्च नहीं करते। किसानों ने विरोध करते हुए आगे बताया कि, जब तक हमें इसका मुआवजा नहीं दिया जाएगा तब तक फोरलेन हाईवे का निर्माण नहीं करने देंगे।
नए सर्किल रेट के आधार पर मुआवजा मिले
सूचना मिलते ही लेखपाल, कानूनगो, तहसीलदार मौके पर पहुंचे। किसानों को समझाने का प्रयास किया। किसानों ने तहसीलदार को बताया कि, हमें नए सर्किल रेट के आधार पर मुआवजा मिलना चाहिए। किसानों ने आगे बताया कि, जिन किसानों के मकान, दुकान, हाईवे निर्माण के अंतर्गत आ रहे हैं उसी हिसाब से दुकान और मकान का मुआवजा मिलना चाहिए जिसकी सूचना तहसीलदार ने NHI के कर्मचारियों को दी।
किसानों का भारी विरोध, कर्मचारी लौटे
सूचना मिलते ही कर्मचारी मौके पर पहुंच गए। किसानों ने अपनी समस्या रखी। कर्मचारी किसानों की बात का संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए। किसानों का भारी विरोध झेलकर कर्मचारी वापस लौट गए। किसानों ने आगे बताया कि, 'जब तक नए सर्किल रेट के हिसाब से किसानों की जमीन का मुआवजा नहीं मिलता, तब तक हाईवे का निर्माण करने नहीं दिया जाएगा'।