Moradabad: 'नहीं सुनी हमारी आवाज, तो मिलेगी वोट की चोट',.. लोगों ने कपूर कंपनी पुल बंद होने के विरोध में मनाया काला दिन

Moradabad: महापौर विनोद अग्रवाल ने कहा कि, 'जो विरोध कर रहे हैं, वह हमेशा विरोध करते रहेंगे। सही बात तो ये है कि, कपूर कम्पनी पुल के लिए अप्रैल, 2023 में शासन की ओर से 13 करोड़ का बजट पास कर दिया गया है। रेलवे की लापरवाही के कारण कार्य शुरू नही हो पाया।

Report :  Sudhir Goyal
Update: 2023-12-18 10:18 GMT

 कपूर कंपनी पुल बंद होने के विरोध में मनाया 'काला दिन' (Social Media)

Moradabad News: मुरादाबाद के लाइनपार क्षेत्र के लोग 22 जुलाई, 2022 के दिन को कोसते नहीं थक रहे। स्थानीय लोगों में जबरदस्त आक्रोश है। लाइनपार वासियों के लिए इसी दिन अति व्यस्त कपूर कंपनी पुल आवागमन के लिए बंद का ऐलान हुआ था आख़िरकार, 7 अगस्त, 2022 को कपूर कंपनी पुल बंद कर दिया गया। अब इलाके के लोग इस दिन को काला दिवस के रूप में मना रहे हैं।

आपको बता दें, पुल बंद होने के बाद हजारों बच्चों की शिक्षा पर प्रभाव पड़ा है। कारोबारियों का कहना है उनके पेट पर लात पड़ी है। कई महिलाओं के सपने चूर हो गए। सिर्फ एक पुल के बंद होने के कारण बड़ी आबादी पर विपरीत प्रभाव पड़ा है। इसी बाबत लोग विरोध प्रदर्शन के लिए सड़कों पर उतरे हैं।

कपूर कंपनी पुल बंद होने के विरोध में लोग 'काला दिन'

जी हां, बात हो रही है मुरादाबाद शहर से लाइनपार का जोड़ने वाले एक मात्र कपूर कंपनी पुल की। इससे लगभग 6 लाख से अधिक की आबादी इस पुल होकर गुजरती है। 7 अगस्त, 2022 को मुरादाबाद के रेलवे विभाग द्वारा पुल को आवाजाही के लिए बंद कर दिया गया। तब से अब तक लोग अपने वाहनों से मानसरोवर कॉलोनी होकर गुजरते हैं। दिल्ली हाईवे होते हुए शहर में प्रवेश करते हैं। इससे समय और जेब पर खर्च दोनों ज्यादा पड़ता है। ईंधन की बर्बादी लोगों को भारी पड़ रही है। कपूर कंपनी पुल बंद होने के विरोध में लोग 'काला दिन' के रूप में मना रहे हैं। लाइनपार की जनता ने रविवार को धरना-प्रदर्शन किया। जिसमें प्रशासन और स्थानीय नेताओं के खिलाफ नारेबाजी की।

जनता में आक्रोश

आम लोगों का कहना है कि, नेता सिर्फ वोट लेने लाइनपार इलाके आते हैं। उसके बाद दिखाई भी नहीं देते। जनप्रतिनिधि फीते काटने में व्यस्त हैं। कार्यालय में बैठकर ही विकास की बातें होती है। लेकिन धरातल पर सच्चाई कुछ और है। हां, निगम चुनावों में लाइनपार पुल का मुद्दा लेकर महापौर निगम चुनाव के समय आये थे। लाइनपार के वाशिंदों को आश्वासन भी दिया। उन्होंने कहा था जल्द ही पुल का काम शुरू करा दिया जायेगा। जिसके बाद लाइनपार की जनता ने वोट देकर महापौर को मिनी सदन भेजा। साल भर बीत जाने के बाद भी पुल चालू नहीं हुआ। लोगों का कहना है, महापौर ने भी अब लाइनपार पुल की ओर आना छोड़ दिया है।

आखिर भटकें भी क्यों ?

स्थानीय लोगों का कहना है, मुरादाबाद लोकसभा सीट, नगर विधानसभा सीट या नगर निगम के महापौर या पार्षदों की सीट हों, सभी हिन्दू बाहुल्य क्षेत्र लाइनपार के वोट से ही जीतकर सदन या विधानसभा पहुंचते हैं। बावजूद लाइन पार की जनता के साथ सबसे बड़ा छलावा किया जा रहा है। जो प्रत्याशी यहां से जीतकर जाता है, वो लाइनपार नहीं आता। लोगों का कहना है कि, हम आखिर क्यों भटकें?

...तो करेंगे चुनाव का बहिष्कार

कांग्रेस नेता व पूर्व जिला अध्यक्ष एडवोकेट देशराज शर्मा ने कहा कि, 'लाइनपार हिन्दूओं के ठेकेदारो की जागीर नही है। यदि वो ऐसा सोचते हैं कि लाइनपार के लोग एक ही पार्टी को वोट देगें तो वह इस भ्रम में न रहे। लाइनपार की जनता लोकसभा चुनाव का बहिष्कार करेगी। अन्यथा चुनाव से पहले कपूर कम्पनी पुल को शुरू किया जाए या नए पुल का निर्माण कराया जाए।'

'हिंदुओ को सिर्फ वोट बैंक न समझें'

लाइन पार निवासी एडवोकेट गीता गोयल कहती हैं कि, 'हिंदुओ को सिर्फ वोट बैंक न समझें। लाइनपार की जनता को कुछ लोग अपनी जागीर समझने की भूल कर रहे हैं। आगामी लोक सभा चुनावों में वोट की चोट लगेगी।'

व्यापार, शिक्षा हो रही प्रभावित

लाइनपार में कपूर कंपनी पुल से लेकर माता मंदिर तक के दुकानदारों का कहना है कि पहले सभी इसी रास्ते से गुजरते थे। हमारी दुकाने चलती थी। दो वक्त की रोजी-रोटी ठीक चलती थी। लेकिन, पुल बंद होने से आज कई दुकानदार कर्जे में डूब गये। वहीं, स्कूल जाने वाले बच्चों की शिक्षा भी पुल बंद होने के कारण प्रभावित हो रही है। क्योकि, लाइनपार में लड़कों का कोई सरकारी कॉलेज नहीं है। इसलिए सभी को पुल पार करके ही जाना पडता हैं। पुल बंद होने के कारण बच्चें या तो पैदल जाते है या फिर अपनी साईकिल से जिससे उन्हे कई दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।'

मुरादाबाद मेयर का पुराना डायलॉग !

कपूर कम्पनी प्रकरण पर अपनी बात रखते हुये महापौर विनोद अग्रवाल ने कहा कि, 'जो विरोध कर रहे हैं, वह हमेशा विरोध करते रहेंगे। सही बात तो ये है कि, कपूर कम्पनी पुल के लिए अप्रैल, 2023 में शासन की ओर से 13 करोड़ का बजट पास कर दिया गया है। अंबाला की कम्पनी को ठेका भी दे दिया गया है। लेकिन, रेलवे की लापरवाही के कारण कार्य शुरू नही हो पाया। वह जल्द ही डीआरएम से मिलकर कपूर कम्पनी पूल शुरू कराने की बात करेंगे। ताकि, जनता का विश्वास हमेशा बना रहे'।

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