West Bengal News: ममता बनर्जी का फिर चला जादू, वाम दलों का आखिरी किला ध्वस्त
West Bengal News: उत्तर बंगाल स्थित सिलीगुड़ी में वामदलों का आखिरी ठिकाना बचा हुआ था। इस जीत के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने राज्य के पूर्व मंत्री गौतम देब को सिलीगुड़ी का नया महापौर घोषित किया है।
West Bengal News: पश्चिम बंगाल (West Bengal) में वामदलों का आखिरी किला भी ध्वस्त हो गया है। अब तृणमूल ने राज्य में वामपंथियों द्वारा संचालित एकमात्र नगर निगम पर कब्जा कर लिया है। उत्तर बंगाल स्थित सिलीगुड़ी में वामदलों का आखिरी ठिकाना बचा हुआ था। इस जीत के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Chief Minister Mamata Banerjee) ने राज्य के पूर्व मंत्री गौतम देब (Former Minister Gautam Deb) को सिलीगुड़ी का नया महापौर घोषित किया है। तृणमूल ने सिलीगुड़ी नगर निगम बोर्ड (Siliguri Municipal Corporation Board) को सात साल बाद वाम मोर्चे से छीन लिया है। खुद गौतम देब ने सिलीगुड़ी नगर निगम (Siliguri Municipal Corporation) के वार्ड 33 से 3,000 से अधिक मतों से जीत हासिल की है।
ममता बनर्जी ने किया ट्वीट
ममता बनर्जी (Chief Minister Mamata Banerjee) ने ट्वीट किया है कि यह एक बार फिर मां, माटी, मानुष की भारी जीत है। हम अपने विकास कार्यों को और अधिक जोश और उत्साह के साथ आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। मां माटी मानुष के प्रति मेरी हार्दिक कृतज्ञता। ममता सिलीगुड़ी की यात्रा पर हैं।
पूर्व मंत्री अशोक भट्टाचार्य (Former Minister Ashok Bhattacharya) के नेतृत्व वाली सीपीएम के सिलीगुड़ी नगर निगम (Siliguri Municipal Corporation) में 23 वार्ड जीतने के तुरंत बाद, ममता ने सात साल पहले सिलीगुड़ी की इसी तरह की यात्रा की थी। उस समय, तृणमूल खेमे द्वारा अपने सभी 23 पार्षदों को सीपीएम के जाल से बचाने के लिए पहाड़ियों में एक रिसॉर्ट में रखा गया था।
2022 में ममता (Chief Minister Mamata Banerjee) को किसी और को रिझाने की जरूरत नहीं है। ममता बनर्जी (Chief Minister Mamata Banerjee) ने कहा है - उत्तर बंगाल के ज्यादातर लोगों ने विधानसभा चुनाव में बीजेपी को वोट दिया था, लेकिन तब से उन्होंने कुछ नहीं किया। उन्होंने कहा कि चाय बागान खोल दिए जाएंगे लेकिन कोई कदम नहीं उठाया गया। वाम मोर्चे ने भी क्षेत्र के लिए कुछ नहीं किया। हम विकास लाए हैं।
सिलीगुड़ी के मेयर के नाम की ही घोषणा की
तृणमूल ने आज सुबह से ही सभी चार नगर निकायों में अजेय बढ़त हासिल कर ली थी। तृणमूल प्रतिष्ठित विधाननगर नगर निगम के 41 वार्डों में से 40, सिलीगुड़ी के 47 वार्डों में से 37, आसनसोल में 106 में से 56 और चंद्रनगर में 33 में से 30 वार्डों में अजेय बढ़त हासिल कर ली है। चार नगर निगमों में जहां तृणमूल कांग्रेस आगे चल रही थी, वहीं सिलीगुड़ी के मेयर के नाम की ही घोषणा की गई थी। अचानक घोषणा के पीछे मुख्य कारणों में से एक ये था कि देब को 2021 के विधानसभा चुनावों में उनकी हार के बाद किनारे कर दिया गया था। जबकि देब ने कई निवर्तमान सीपीएम पार्षदों को तृणमूल के पाले में लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी, लेकिन यह कदम स्थानीय नेतृत्व के साथ बहुत अच्छा नहीं रहा।
ममता ने अब पार्टी पर पूर्ण नियंत्रण कर लिया है और वे आसानी से दावा कर सकती हैं कि जीत उनकी वजह से ही है क्योंकि चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर और उनकी टीम को चुनाव प्रक्रिया के दौरान दूर रखा गया था। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Chief Minister Mamata Banerjee) ने कहा है कि वह गैर-भाजपा शासित राज्यों में अपने समकक्षों के संपर्क में हैं। उन्होंने कहा कि मैंने तेलंगाना और तमिलनाडु के मुख्यमंत्रियों से बात की है। हमारे बीच सहयोग की भावना है। जो भी दल धर्मनिरपेक्षता के पक्ष में है उसे उसी मंच पर आना चाहिए। गेंद अब कांग्रेस के पाले में है।
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