चले पत्थर-लगी आग: आज भारत बंद का रहा ऐसा असर, किसानों में आक्रोश
नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों द्वारा आज भारत बंद का आह्वाहन किया गया। जिसके समर्थन में कई राजनैतिक दल और संगठन उतरे। इस दौरान बंद का व्यापक असर देखने को मिला।
नई दिल्ली: केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों द्वारा बुलाए गए भारत बंद का असर देश के कई हिस्सों में देखने को मिल रहा है। सुबह से ही अलग-अलग राज्यों में इसका व्यापक असर देखा जा रहा है। देश के अलग-अलग इलाकों में कई संगठन सड़कों पर उतरे हैं और प्रदर्शन कर रहे हैं। वहीं किसानों के भारत बंद को कई राजनैतिक दलों और संगठनों ने अपना समर्थन दिया है। बता दें कि किसान संगठनों ने सुबह 11 से दोपहर 3 बजे तक भारत बंद के दौरान चक्का जाम करने की घोषणा की है।
अगर भारत बंद के असर की बहात की जाए तो देश के अलग-अलग राज्यों में सुबह से ही किसान से लेकर राजनैतिक दल प्रदर्शन कर रहे हैं। दिल्ली-यूपी बॉर्डर पर जाम रहा तो वहीं एक्सप्रेस-वे पर प्रदर्शन किया गया। दिल्ली के सिंधु बॉर्डर पर भी किसानों का जमावड़ा रहा। इस दौरान दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर पूरी तरह से बंद रहा। भारत बंद को लेकर सुरक्षा बढ़ा दी गई। सिंधु के अलावा टिकरी सीमा पर भी बड़ी संख्या में किसानों की भीड़ जुटी हुई है। भारत बंद के दौरान किसानों समर्थन देने के लिए पंजाब के कई सांसद मंगलवार को दिल्ली पहुंचे।
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यूथ कांग्रेस ने दिल्ली के ITO पर किया विरोध प्रदर्शन
राजनैतिक दलों की बात की जाए तो यूथ कांग्रेस ने दिल्ली के ITO पर विरोध प्रदर्शन किया। यहां पर कई के खिलाफ पुलिस ने एक्शन लिया। इसके अलावा कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर के संसदीय क्षेत्र श्योपुर में भी भारत बंद का व्यापक असर देखने को मिला। यहां पर किसानों ने कृषि कानूनों के विरोध में बड़ी रैली निकाली। वहीं पटना की बात की जाए तो यहां पर पप्पू यादव की जन अधिकार पार्टी के कार्यकर्ताओं ने जमकर हुड़दंगई दिखाई। कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन के दौरान आम लोगों की गाड़ियों की छत पर चढ़कर जमकर हंगामा किया।
वहीं भारत बंद के दौरान राजस्थान के जयपुर में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के बीच भिड़ंत हो गई। इनके बीच जमकर मारपीट हुई और पत्थर चले। जिसके बाद पुलिस को बीच में आकर बचाव करना पड़ा। इसके अलावा राजधानी जयपुर में गहलोत सरकार के परिवहन मंत्री प्रताप सिंह ने भी किसानों को अपना समर्थन दिया और किसानों के समर्थन में ट्रैक्टर चलाया। भारत बंद का असर पश्चिम बंगाल में भी देखने को मिला है। यहां पर जाधवपुर में बंद का ट्रेन सेवा पर असर पड़ा।
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किसानों के समर्थन में आगजनी
इतना ही नहीं पश्चिम बंगाल के नादिया में किसानों के समर्थन में आगजनी तक की गई, जिसके बाद पुलिस को एक्शन लेना पड़ा। वहीं भारत बंद को देखते हुए ग्रेटर नोएडा में भारी पुलिस बल की तैनाती की गई। यहां पर ड्रोन से निगरानी की जा रही है। बिहार के खगड़िया में राष्ट्रीय जनता दल (RJD) और पप्पू यादव की जनाधिकार पार्टी के कार्यकर्ताओं ने हंगामा किया और बस स्टैंड पर जाम लगा दिया। बिहार के अन्य जिलों में भी बंद का असर देखने को मिला है।
मध्य प्रदेश में भी किसानों के समर्थन में ट्रैक्टर निकाले गए। वहीं इस दौरान पुलिस के रास्ते में रोकने पर जमकर हंगामा भी किया गया। उत्तर प्रदेश के भी कई जिलों में बंद का असर हुआ है। यूपी के बस्ती जिले में भारत बंद के समर्थन में उतरे सपा कार्यकर्ताओं पर पुलिस ने जमकर लाठियां भांजी हैं। वहीं प्रयागराज में सपा के कार्यकर्ताओं ने बंद का समर्थन किया और सुबह-सुबह बुंदेलखंड एक्सप्रेस ट्रेन रोकी। इसके अलावा कानपुर शहर में भारत बंद के दौरान पुलिस पूरी तरह मुस्तैद दिखी। यहां पर किसी को धरने की अनुमति नहीं दी गई।
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भारत बंद का टाइम हुआ पूरा, रहा पूरे दिन मिला जुला असर
आज सुबह से भारत बंद को लेकर जहां भाजपा शासित राज्यों हरियाणा, मध्यप्रदेश, यूपी आदि में पुलिस की कडी सुरक्षा व्यवस्था की गयी थी। वहीं पंजाब कर्नाटक, तेलेंगाना, पश्चिम बंगाल और दिल्ली में पुलिस ने पहले इस आंदोलन का समर्थन कर रहे नेताओं को नजरबंद कर दिया जिसके कारण आंदोलन व्यापक रूप नहीं ले सका। पश्चिम बंगाल, ओडिशा और आंध्र प्रदेश में लेफ्ट पार्टियों के कार्यकर्ताओं ने ट्रेन रोक दी। वहीं कई जगह सड़के बंद करके केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की गयी।
हरियाणा और पंजाब में भी बंद का व्यापक असर दिख दिखा। यूपी में कई विधायकों और पूर्व मंत्रियों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। इस बीच कई राज्यों में आयोजित होने वाली परीक्षाओं को स्थगित कर दिया गया। वहीं गैरभाजपाषाासित राज्यों में बसे ट्रेन आदि को बाधित किया गया। आम आदमी पार्टी ने मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल को नजरबंद करने का आरोप लगाया। किसानों के भारत बंद में हिस्सा लेने जा रहे भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर रावण को पुलिस ने हिरासत में ले लिया।
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किसानों के भारत बंद का समापन
सुबह 11 बजे से तीन बजे तक आयोजित इस बंद का समापन इस बात से हुआ कि केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने 13 किसान संगठनों को शाम सात बजे अपने आवास पर वार्ता के लिए बुलाया है। भारत बंद के बाद किसान कल होने वाली सरकार के साथ बैठक पर मंथन करेंगे। बुधवार को केंद्र और किसान नेताओं के बीच छठे दौर की बात होनी है। अबतक पांच दौर की बातचीत में किसानों और सरकार के बीच कोई हल नहीं निकला है।
हांलाकि देश के कुल 40 किसान संगठनों में से कुछ ने कहा है कि वार्ता तो कई चक्र की पहले भी हो चुकी है। अब वार्ता करने से कोई लाभ नहीं है। इन संघों का कहना है कि केन्द्र सरकार पहले इन बिलों को वापस ले। इसके सिवाय कोई दूसरा रास्ता नहीं है। वहीं भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष राकेष टिकैत ने कहा कि आज शाम केन्द्रीय गृह मंत्री से होने वाली वार्ता के बाद जरूर कोई रास्ता निकलेगा।
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