Lucknow News: स्वामी प्रसाद मौर्य का बीजेपी पर बड़ा हमला, बोले- दलित-पिछड़ों का गला घोट रही है सरकार
UP Politics: बोले- बीजेपी ने इन्हे अजगर की तरह निगलने का काम किया है। आज देश का नौजवान बेरोजगार है, किसान, मजदूर और आम जनता की महंगाई से कमर टूट गयी है।
UP Politics: अक्सर अपने बयानों को लेकर चर्चा में रहने वाले स्वामी प्रसाद मौर्य ने बीजेपी पर हमला बोला है। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और एमएलसी स्वामी प्रसाद मौर्य के रामचरितमानस विवाद के बाद से उनके लगातार बयान आ रहे हैं। अब एक बार फिर स्वामी प्रसाद मौर्य ने उन पंक्तियों पर सवाल उठा दिया है।
उन्होंने कहा, ‘‘ढोल, गवार, शुद्र, पशु, नारी, सकल ताड़ना के अधिकारी। उसी सुंदरकांड का हिस्सा, जिसका सरकार ने पाठ कराने का निर्णय लिया है, यानी सरकार का यह निर्णय महिलाओं व शूद्र समाज को प्रताड़ित व अपमानित करने वाले 3 प्रतिशत लोगों का बढ़ावा देने एवं 97 प्रतिशत हिंदू समाज के भावनाओं को आहत करने वाला है।‘‘
ढोल, गवार, शुद्र, पशु, नारी।
सकल ताड़ना के अधिकारी।।
उसी सुंदरकांड का हिस्सा, जिसका सरकार ने पाठ कराने का निर्णय लिया है यानी सरकार का यह निर्णय महिलाओं व शूद्र समाज को प्रताड़ित व अपमानित करने वाले 3% लोगों का बढ़ावा देने एवं 97% हिंदू समाज के भावनाओं को आहत करने वाला है।— Swami Prasad Maurya (@SwamiPMaurya) March 16, 2023
क्या बोले स्वामी प्रसाद मौर्य?
सपा एमएलसी स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा, ‘‘दलित और पिछड़ों को हिन्दू कह कर वोट लेने वाली बीजेपी सरकार आज इन्हीं दलित, पिछड़ों का गाला घोट रही है। बीजेपी ने इन्हे अजगर की तरह निगलने का काम किया है। आज देश का नौजवान बेरोजगार है, किसान, मजदूर और आम जनता की महंगाई से कमर टूट गयी है। गौशाला बनाने का छलावा करने वाली बीजेपी सरकार आज गौशाला तक नहीं बनवा पायी, छुट्टा जानवरों के लिए कुछ नहीं कर पायी।‘‘
ये सरकार हवा हवाई है
वहीं उन्होंने प्रयागराज उमेश पाल हत्याकांड पर कहा, ‘‘ये दुर्भाग्यपूर्ण है। उमेश पाल के सही आरोपी को अभी तक पकड़ नहीं पायी। ये सरकार हवा हवाई है।‘‘ इससे पहले उन्होंने कहा था, ‘‘उत्तर प्रदेश टाउनशिप नीति 2023 के अंतर्गत अनु. जाति, अनु. जनजाति के लोगों की जमीन अधिग्रहित करने हेतु जिलाधिकारी की संस्तुति की अनिवार्यता को खत्म कर सरकार ने अपने ही बनाए कानून को ठेंगा दिखाया है। उन्होंने कहा, भाजपा सरकार की दलित विरोधी नीति का घोर निंदा करता हूं।‘‘
स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा था, ‘‘अब पूरे देश में लोगों ने अपने आप रामचरितमानस का पाठ कराना बंद कर दिया, इसलिए सरकार अपने खर्चे से मानस की पाठ कराने पर मजबूर हो रही है। ऐसा करके देश की महिलाओं एवं आदिवासियों, दलितों व पिछड़ो को नित्यप्रति अपमानित करने की साजिश की जा रही हैं।‘‘