Sultanpur News: मिट्टी की हांडी में बनी दाल-बाटी, चोखा का स्वाद चखेंगे पर्यटक, जिले में अनूठा प्रयास

Sultanpur News: पर्यटकों को मिलेगी होम स्टे की सुविधा।

Update: 2023-07-27 15:17 GMT
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Sultanpur News: देशी चूल्हे पर मिट्टी की हांडी में बनी दाल, कंडे में भुनी बाटी और चोखा का स्वाद का अलग ही आनंद है। इस स्वाद को चखने का अवसर अब पर्यटकों को जिले के बल्दीराय के तिरहुत और पिपरी में श्वेतवाराह धाम पर मिलेगा।

ग्रामीण पर्यटन संवर्धन की दिशा में चयन

ग्रामीण पर्यटन संवर्धन की दिशा में तिरहुत और पिपरी में श्वेतवाराह धाम का चयन किया गया है। आज आधुनिकता की दौड़ में गांवों की बड़ी आबादी अब शहरों में बस गई हैं। बहुत से लोगों को ग्रामीण परिवेश के रहन-सहन की जानकारी ही नहीं है। सरकार ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा दे रही है, जिससे लोग गांवों की तरफ जाएं, वहां का रहन-सहन, खानपान, पुरानी धरोहर, ऐतिहासिक स्थल देखें व जानकारी हासिल करें। इसी कड़ी में संकल्प नामक संस्था ने सुल्तानपुर जिले के बल्दीराय तहसील के दो स्थल तिरहुत राजा का कोट व पिपरी का श्वेतवाराह धाम का चयन किया है।

हाइटेक तरीके से संस्था कर रहीं प्रचार

संकल्प संस्था गांवों में जाकर सर्वे कर रही है। जहां उसको कुछ अच्छा दिखाई पड़ता है, उसको यूट्यूब व गूगल आदि पर डालकर उसका प्रचार प्रसार कर रही है। जिससे शहरों में बसे लोग देखकर ग्रामीण क्षेत्र में जाएं, अपनी संस्कृति को पहचाने। इससे लोगों को जानकारियां तो होंगी ही, साथ ही ग्रामीण क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा तो ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों की आमदनी भी किसी न किसी रूप में बढ़ेगी। इसी क्रम में पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे के माइल स्टोन 80 के पास तिरहुत स्टेट व पिपरी का श्वेतवाराह धाम का चयन संस्था ने किया है।

चयनित स्थल का है पौराणिक मह्त्व

श्वेतवाराह स्थल गोमती नदी के किनारे स्थित है और उसका भी ऐतिहासिक महत्व है। बताते हैं कि जब हिरण्याक्ष नामक राक्षस पृथ्वी को खींचकर समुद्र तल में ले गया तो भगवान विष्णु ने उसे बचाने के लिए शूकर का रूप धारण कर राक्षस का वध किया था। उन्हीं वराह भगवान का यहां मंदिर है। भगवान विष्णु के दस अवतार में से एक ये भी है। इसी मंदिर से चार किमी की दूरी पर तिरहुत स्टेट है। यहां आकर सौ साल पुरानी मिट्टी की दीवार पर लकड़ी की छत देखते ही पुराने रहन सहन की याद ताजा हो जाती है। यहीं पर पर्यटकों को होम स्टे की भी सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी।

पर्यटक लकड़ी के चूल्हे पर मिट्टी की हांडी में बनी दाल, बाटी चोखा का व देशी भोजन का आनंद ले सकेंगे। तिरहुत स्टेट के राय भानुप्रताप सिंह ने बताया कि यहां आने वाले पर्यटकों को किसी भी प्रकार की असुविधा नही होने पाएगी। वहीं संकल्प संस्था के सलाहकार अम्बर विशाल ने बताया कि आजकल शहरों में रहने वाले लोगों को ग्रामीण परिवेश व ऐतिहासिक धरोहर का पता नहीं है। संस्था का उद्देश्य लोगों को जागरूक करना है। इसके लिए हम गांव मे जाकर ऐसे स्थल को चिन्हित कर यूट्यूब, गूगल पर डालते हैं, जिससे लोगों को जानकारी मिल सके।

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