खऱाब निकली चाइनीज रैपिड टेस्टिंग किट, ICMR ने राज्यों से कहा- लौटा दो

चीनी रैपिड टेस्टिंग किट में खराबी पाए जाने के बाद भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद ने इससे कोरोना संक्रमितों की जांच पर रोक लगा दी है। साथ ही राज्यों...

Update: 2020-04-28 16:50 GMT

नई दिल्ली: चीनी रैपिड टेस्टिंग किट में खराबी पाए जाने के बाद भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद ने इससे कोरोना संक्रमितों की जांच पर रोक लगा दी है। साथ ही राज्यों से ये किट लौटाने को कहा है ताकि इन्हें चीन की फर्मो को वापस कर दिया जाए। ये टेस्टिंग किट चीन की ग्वांझू वोंडफो बॉयोटेक कंपनी लिमिटेड और झुवाई लिवजोन डायग्नोस्टिक्स इंक से खरीदी गई थी। हालांकि किट आपूर्ति करने वाले को अब तक कोई भुगतान नहीं किया गया है। साथ ही आइसीएमआर ने यह भी साफ किया है कि इन कंपनियों को आगे फिर कोई ऑर्डर नहीं दिए गए हैं।

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आइसीएमआर ने राज्य सरकारों की शिकायत के बाद किट का मूल्यांकन करने के बाद सोमवार को सलाह जारी करते हुए कहा कि चीन के ग्वांझू वोंडफो बॉयोटेक और हुआई लिवजोन डायग्नोस्टिक किट्स का इस्तेमाल रोक दें। आइसीएमआर ने बताया कि दोनों कंपनियों के किट्स की जांच की गई, जिसमें पाया गया कि अलग तरह के परिणाम आ रहे हैं, जबकि जल्द परिणाम आने के साथ ही सही काम करने का दावा कंपनियों ने किया था। इसके बाद उक्त कंपनियों के किट्स को वापस किया जा रहा है।

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आइसीएमआर ने आरोपों को नाकारा

इसके साथ ही आइसीएमआर ने इस आरोप को नकार दिया है कि चीनी कंपनी से 600 रुपये प्रति किट खरीदने का फैसला गलत था। किट ने अब राजनीतिक रंग भी ले लिया है। विपक्षी दल की ओर से इसमें भ्रष्टाचार का आरोप लगाया गया है। जबकि सरकार की ओर से पूरी विवरण देते हुए जहां आरोप नकारा गया है वहीं किट को वापस करने का भी फैसला लिया गया है।

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